ज़िंदगी हर पल गुज़र रही है
ज़िंदगी हर पल गुज़र रही है
यूं मौत मुट्ठियों में पल रही है
बस अंदाजा नहीं लग रहा है
वक्त रेत-सी फिसल रही है
©️ डॉ. शशांक शर्मा “रईस”
ज़िंदगी हर पल गुज़र रही है
यूं मौत मुट्ठियों में पल रही है
बस अंदाजा नहीं लग रहा है
वक्त रेत-सी फिसल रही है
©️ डॉ. शशांक शर्मा “रईस”