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8 May 2021 · 1 min read

जबरी दूध पियावल जाला

गाढ़े परल समइया हाथे दुब जमावल जाला ।
सांसत में लरिका के जबरी दूध पियावल जाला ।

जइसे तइसे कटे उमिरिया डेरवावे परछाईं ।
कफ़न सरीखा इंतजाम सब कइले बा पुरवाई ।
घर अंगना संदूक भयल , बंदूक देखावल जाला ।
सांसत में लरिका के जबरी दूध पियावल जाला ।

मांसन के व्यापार बढ़ल रोजगार के बहुतै ठाला ।
टेक्नोलॉजी बेबस बा रेडिएशन खूब मंडराला ।
सरकारी अनुदान के मुँहवा फार के घोंटल जाला ।
सांसत में लरिका के जबरी दूध पियावल जाला ।

आफ़त में कांपत बा धरती ना केहुवो पतियाला ।
जंगल काट के मंगल पर अब जीवन खोजल जाला ।
परमाणु हथियारन के खूब शान बघारल जाला ।
सांसत में लरिका के जबरी दूध पियावल जाला ।

गाढ़े परल समइया हाथे दुब जमावल जाला ।
सांसत में लरिका के जबरी दूध पियावल जाला ।

✍️ धीरेन्द्र पांचाल

Language: Hindi
1 Like · 2 Comments · 498 Views
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