Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
16 May 2024 · 1 min read

छंद मुक्त कविता : जी करता है

31— बुद्धि का उजास
^^^^^^^^^^^^^^^^^^^
विकास की होड़ में
नित्य नए तथ्यों का अविष्कार
फिसलती सीढ़ियों में
सत्य से झूठ का परिष्कार ।
हृदय की भूलभुलैया में
चक्कर काटता अहंकार
जन संख्या की भीड़ में
दिन रात बदलता आकार ।
विगत धुंधलकों में
घुला मिला सा मूर्छित आभास
पारदर्शी शीशों से
झांकता बुद्धि का उजास ।
आतुर घूमती खामोशी में
निस्तब्धता का स्पंदन
आँखों की भाषा में
करुणा का क्रंदन ।
जन- जन का जीवन
मानस की कविता
शब्द दर शब्द
पीड़ा की निस्तब्धता ।।

सुशीला जोशी
9719260777

Language: Hindi
30 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
लाख़ ज़ख्म हो दिल में,
लाख़ ज़ख्म हो दिल में,
पूर्वार्थ
कर्मों से ही होती है पहचान इंसान की,
कर्मों से ही होती है पहचान इंसान की,
शेखर सिंह
ग़ज़ल(उनकी नज़रों से ख़ुद को बचाना पड़ा)
ग़ज़ल(उनकी नज़रों से ख़ुद को बचाना पड़ा)
डॉक्टर रागिनी
ग़ज़ल
ग़ज़ल
डाॅ. बिपिन पाण्डेय
उपेक्षित फूल
उपेक्षित फूल
SATPAL CHAUHAN
सुनता जा शरमाता जा - शिवकुमार बिलगरामी
सुनता जा शरमाता जा - शिवकुमार बिलगरामी
Shivkumar Bilagrami
जीवन रूपी बाग में ,सत्कर्मों के बीज।
जीवन रूपी बाग में ,सत्कर्मों के बीज।
Anamika Tiwari 'annpurna '
🥀 *गुरु चरणों की धूल*🥀
🥀 *गुरु चरणों की धूल*🥀
जूनियर झनक कैलाश अज्ञानी झाँसी
!! प्रार्थना !!
!! प्रार्थना !!
Chunnu Lal Gupta
#लघुकथा-
#लघुकथा-
*प्रणय प्रभात*
Being with and believe with, are two pillars of relationships
Being with and believe with, are two pillars of relationships
Sanjay ' शून्य'
संवेदना की आस
संवेदना की आस
Ritu Asooja
ईश्वर की कृपा दृष्टि व बड़े बुजुर्ग के आशीर्वाद स्वजनों की द
ईश्वर की कृपा दृष्टि व बड़े बुजुर्ग के आशीर्वाद स्वजनों की द
Shashi kala vyas
*मैं वर्तमान की नारी हूं।*
*मैं वर्तमान की नारी हूं।*
Dushyant Kumar
उल्लाला छंद विधान (चन्द्रमणि छन्द) सउदाहरण
उल्लाला छंद विधान (चन्द्रमणि छन्द) सउदाहरण
Subhash Singhai
कम से कम..
कम से कम..
हिमांशु Kulshrestha
निष्कर्ष
निष्कर्ष
Dr. Kishan tandon kranti
तीन सौ वर्ष की आयु  : आश्चर्यजनक किंतु सत्य
तीन सौ वर्ष की आयु : आश्चर्यजनक किंतु सत्य
Ravi Prakash
ग़ज़ल
ग़ज़ल
ईश्वर दयाल गोस्वामी
बोट डालणा फरज निभाणा -अरविंद भारद्वाज
बोट डालणा फरज निभाणा -अरविंद भारद्वाज
अरविंद भारद्वाज
जवाब दो हम सवाल देंगे।
जवाब दो हम सवाल देंगे।
सत्य कुमार प्रेमी
प्यार क्या होता, यह हमें भी बहुत अच्छे से पता है..!
प्यार क्या होता, यह हमें भी बहुत अच्छे से पता है..!
SPK Sachin Lodhi
टमाटर का जलवा ( हास्य -रचना )
टमाटर का जलवा ( हास्य -रचना )
Dr. Harvinder Singh Bakshi
उगते विचार.........
उगते विचार.........
विमला महरिया मौज
शाकाहारी
शाकाहारी
डिजेन्द्र कुर्रे
झूठी है यह जिंदगी,
झूठी है यह जिंदगी,
sushil sarna
छोटी कहानी- 'सोनम गुप्ता बेवफ़ा है' -प्रतिभा सुमन शर्मा
छोटी कहानी- 'सोनम गुप्ता बेवफ़ा है' -प्रतिभा सुमन शर्मा
Pratibhasharma
बुलंदियों से भरे हौसलें...!!!!
बुलंदियों से भरे हौसलें...!!!!
Jyoti Khari
ऐसा लगता है कि शोक सभा में, नकली आँसू बहा रहे हैं
ऐसा लगता है कि शोक सभा में, नकली आँसू बहा रहे हैं
Shweta Soni
🌹 मैं सो नहीं पाया🌹
🌹 मैं सो नहीं पाया🌹
सुरेश अजगल्ले 'इन्द्र '
Loading...