Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
30 Jul 2021 · 1 min read

चुपके से

वो महफ़िल में आये तो
मगर चुपके से
तिरछी निगाह से देखा तो
मगर चुपके से
नज़रें मिली और बात हुई
मगर चुपके से
होठों पे मुस्कान तो आई
मगर चुपके से

मिलने का इशारा कर गए
मगर चुपके से
इशारा करके खिसक गए
मगर चुपके से
हम भी महफ़िल से निकले
मगर चुपके से
दोनों की फिर मुलाकात हुई
मगर चुपके से

वीर कुमार जैन
30 जुलाई 2021

Language: Hindi
1 Like · 2 Comments · 204 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
मेरे दो अनमोल रत्न
मेरे दो अनमोल रत्न
Ranjeet kumar patre
ख्वाबों से निकल कर कहां जाओगे
ख्वाबों से निकल कर कहां जाओगे
VINOD CHAUHAN
Science teacher's Umbrella
Science teacher's Umbrella
Mr. Bindesh Jha
2817. *पूर्णिका*
2817. *पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
#वर_दक्षिण (दहेज)
#वर_दक्षिण (दहेज)
संजीव शुक्ल 'सचिन'
बर्फ
बर्फ
Santosh kumar Miri
Choose a man or women with a good heart no matter what his f
Choose a man or women with a good heart no matter what his f
पूर्वार्थ
सैनिक का सावन
सैनिक का सावन
Dr.Pratibha Prakash
दोहा- सरस्वती
दोहा- सरस्वती
राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
घर संसार का बिखरना
घर संसार का बिखरना
Krishna Manshi
बेवकूफ
बेवकूफ
Tarkeshwari 'sudhi'
ग़ज़ल
ग़ज़ल
ईश्वर दयाल गोस्वामी
करना था यदि ऐसा तुम्हें मेरे संग में
करना था यदि ऐसा तुम्हें मेरे संग में
gurudeenverma198
सबरी के जूठे बेर चखे प्रभु ने उनका उद्धार किया।
सबरी के जूठे बेर चखे प्रभु ने उनका उद्धार किया।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
*सब देशों को अपना निर्मम, हुक्म सुनाता अमरीका (हिंदी गजल)*
*सब देशों को अपना निर्मम, हुक्म सुनाता अमरीका (हिंदी गजल)*
Ravi Prakash
दिल की गलियों में कभी खास हुआ करते थे।
दिल की गलियों में कभी खास हुआ करते थे।
Phool gufran
ख़ूबसूरत लम्हें
ख़ूबसूरत लम्हें
Davina Amar Thakral
आकलन
आकलन
Mahender Singh
शराब नहीं पिया मैंने कभी, ना शराबी मुझे समझना यारों ।
शराब नहीं पिया मैंने कभी, ना शराबी मुझे समझना यारों ।
Dr. Man Mohan Krishna
गिलहरी
गिलहरी
Satish Srijan
विचार
विचार
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
जो संस्कार अपने क़ानून तोड़ देते है,
जो संस्कार अपने क़ानून तोड़ देते है,
शेखर सिंह
"विदूषक"
Dr. Kishan tandon kranti
*दिल का कद्रदान*
*दिल का कद्रदान*
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
तक़दीर का ही खेल
तक़दीर का ही खेल
Monika Arora
"जय जवान जय किसान" - आर्टिस्ट (कुमार श्रवण)
Shravan singh
दिल चाहता है अब वो लम्हें बुलाऐ जाऐं,
दिल चाहता है अब वो लम्हें बुलाऐ जाऐं,
Vivek Pandey
😊Good Night😊
😊Good Night😊
*प्रणय*
Dr Arun Kumar Shastri
Dr Arun Kumar Shastri
DR ARUN KUMAR SHASTRI
मैं हूं न ....@
मैं हूं न ....@
Dr. Akhilesh Baghel "Akhil"
Loading...