चमेली
दोहे
सृजन शब्द चमेली
कुसुमित सुमन सुगंध है, अनुपम सुंदर रुप।
धवल चमेली पुष्प है , ज्यूं खिलती है धूप।।
शीतल पवन झुला रही, मुदित चमेली डार।
लोच कमर मटका रही, नैन कटारी मार ।।
ललिता कश्यप गांव सायर जिला बिलासपुर हिमाचल प्रदेश
दोहे
सृजन शब्द चमेली
कुसुमित सुमन सुगंध है, अनुपम सुंदर रुप।
धवल चमेली पुष्प है , ज्यूं खिलती है धूप।।
शीतल पवन झुला रही, मुदित चमेली डार।
लोच कमर मटका रही, नैन कटारी मार ।।
ललिता कश्यप गांव सायर जिला बिलासपुर हिमाचल प्रदेश