घर को छोड़कर जब परिंदे उड़ जाते हैं,
घर को छोड़कर जब परिंदे उड़ जाते हैं,
बूढ़े मां बाप तन्हा रह जाते हैं,
कांपते हाथों से रोटी पकाते हैं,
भूखे पेट को भरने की जुगड़ लगते हैं
घर को छोड़कर जब परिंदे उड़ जाते हैं,
बूढ़े मां बाप तन्हा रह जाते हैं,
कांपते हाथों से रोटी पकाते हैं,
भूखे पेट को भरने की जुगड़ लगते हैं