ग़ज़ल
अदब का दबदबा क्या है ?
ग़ज़ल का मत्-लआ क्या है ?
म़रद़्द़फ़ ग़ैर हो जो , वो ,
ग़ज़ल का काफ़िया क्या है ?
ब़ह़्र की कैफ़ियत कितनी ,
व़ज़्न का हौस़ला क्या है ?
हद़-ए-अल्फ़ाज़ की ख़ातिर ,
अद़ब़ का फ़ैसला क्या है ?
ज़रूरी है ग़ज़ल कहना ,
और कुछ आसरा क्या है ?
ज़म़ाना भी सुनेगा अब,
“ईश्वर” ने कहा क्या है ?
—- ईश्वर दयाल गोस्वामी ।