Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
27 Oct 2016 · 1 min read

ग़ज़ल रचनाएँ

तुझको ही बस तुझको सोचू इतना तो कर सकती हूँ,,,,,,,,,
तेरे ग़म को अपना समझू इतना तो कर सकती हूँ ।।।।।।।।।।
मुझको क्या मालूम मुहब्बत कैसे करती है दुनिया,,,,,,,
हद से ज्यादा तुझको सोचू इतना तो कर सकती हूँ ।।।।।।।।।
इस दिन को तू मेरे सजना इतना तो ह़क दे देना,,,,,,,,,,,,
छलनी में से तुझको देखू इतना तो कर सकती हूँ ।।।।।।।।।
आज मुबारक वो दिन आया सामने मेरा साजन है,,,,,,,,,,
तेरे ग़म के आँसू पी लू इतना तो कर सकती हूँ ।।।।।।।।।।।
दो-दो चन्दा मेरे आगे आज खुशी का दिन है ये,,,,,,,,,,,
इक पल में ही सदियाँ जी लू इतना तो कर सकती हूँ ।।।।।।।।।।

271 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
*pyramid*
*pyramid*
DR ARUN KUMAR SHASTRI
बेटी को पंख के साथ डंक भी दो
बेटी को पंख के साथ डंक भी दो
ऐ./सी.राकेश देवडे़ बिरसावादी
Friendship day
Friendship day
Neeraj kumar Soni
एक छोटी सी तमन्ना है जीन्दगी से।
एक छोटी सी तमन्ना है जीन्दगी से।
Ashwini sharma
ज़िंदगी नाम बस
ज़िंदगी नाम बस
Dr fauzia Naseem shad
वक्त के धारों के साथ बहना
वक्त के धारों के साथ बहना
पूर्वार्थ
बिटिया !
बिटिया !
Sangeeta Beniwal
सब्र या धैर्य,
सब्र या धैर्य,
नेताम आर सी
जमाना तो डरता है, डराता है।
जमाना तो डरता है, डराता है।
Priya princess panwar
कमियाॅं अपनों में नहीं
कमियाॅं अपनों में नहीं
Harminder Kaur
घर से निकालकर सड़क पर डाल देते हों
घर से निकालकर सड़क पर डाल देते हों
Keshav kishor Kumar
"व्यर्थ सलाह "
Yogendra Chaturwedi
ग़ज़ल
ग़ज़ल
Neelofar Khan
जज्बे से मिली जीत की राह....
जज्बे से मिली जीत की राह....
Nasib Sabharwal
*बचपन यादों में बसा, लेकर मधुर उमंग (कुंडलिया)*
*बचपन यादों में बसा, लेकर मधुर उमंग (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
चंद मुक्तक- छंद ताटंक...
चंद मुक्तक- छंद ताटंक...
डॉ.सीमा अग्रवाल
महसूस किए जाते हैं एहसास जताए नहीं जाते.
महसूस किए जाते हैं एहसास जताए नहीं जाते.
शेखर सिंह
यादों की किताब
यादों की किताब
Smita Kumari
माँ दया तेरी जिस पर होती
माँ दया तेरी जिस पर होती
Basant Bhagawan Roy
मां
मां
जितेन्द्र गहलोत धुम्बड़िया
4557.*पूर्णिका*
4557.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
जाने कहाँ से उड़ती-उड़ती चिड़िया आ बैठी
जाने कहाँ से उड़ती-उड़ती चिड़िया आ बैठी
Shweta Soni
दिल जीतने की कोशिश
दिल जीतने की कोशिश
Surinder blackpen
उन्नति का जन्मदिन
उन्नति का जन्मदिन
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
"सिरासार"
Dr. Kishan tandon kranti
🙅हस्तिनापुर🙅
🙅हस्तिनापुर🙅
*प्रणय*
तुम्हीं  से  मेरी   जिंदगानी  रहेगी।
तुम्हीं से मेरी जिंदगानी रहेगी।
Rituraj shivem verma
बुढ़ापा
बुढ़ापा
Neeraj Agarwal
कोहराम मचा सकते हैं
कोहराम मचा सकते हैं
अरशद रसूल बदायूंनी
हिन्दी भाषा
हिन्दी भाषा
surenderpal vaidya
Loading...