Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
28 May 2016 · 1 min read

गजल

मैं एक ढ़लती हुई शाम उसके नाम लिख रहा हूँ।
एक प्यार भरे दिल का कत्लेआम लिख रहा हूँ।

ता उम्र मैं करता रहा जिस शाम उसका चर्चा,
मैं आज उसी शाम को नाकाम लिख रहा हूँ ।

सोचा था न जाऊँगा जहाँ उम्र भर कभी भी,
उस मैकदे में अब तो हर शाम दिख रहा हूँ ।

हाँसिल न हुआ जिसमें बस गम के शिवा कुछ भी,
मैं उस दीवानेपन का अंजाम लिख रहा हूँ ।

थी हीरे सी चमक मुझमें प्यार के उजाले में,
नफरत के अंधेरों में पथ्थर सा दिख रहा हूँ ।

दुनिया की निगाहों से जिसे था छुपाया करता,
उस बेवफा का नाम सरेआम लिख रहा हू।
——मुकेश पाण्डेय

1 Like · 397 Views

You may also like these posts

हम और आप ऐसे यहां मिल रहें हैं,
हम और आप ऐसे यहां मिल रहें हैं,
Jyoti Roshni
आया दिन मतदान का, छोड़ो सारे काम
आया दिन मतदान का, छोड़ो सारे काम
Dr Archana Gupta
God's Grace
God's Grace
Poonam Sharma
राम के प्रति
राम के प्रति
Akash Agam
किसान
किसान
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
रक्तदान जिम्मेदारी
रक्तदान जिम्मेदारी
Sudhir srivastava
मरना कोई नहीं चाहता पर मर जाना पड़ता है
मरना कोई नहीं चाहता पर मर जाना पड़ता है
सिद्धार्थ गोरखपुरी
मनहरण घनाक्षरी
मनहरण घनाक्षरी
डाॅ. बिपिन पाण्डेय
सुन लिया करो दिल की आवाज को,
सुन लिया करो दिल की आवाज को,
Manisha Wandhare
मैं जब भी लड़ नहीं पाई हूँ इस दुनिया के तोहमत से
मैं जब भी लड़ नहीं पाई हूँ इस दुनिया के तोहमत से
Shweta Soni
कान्हा तेरे रूप
कान्हा तेरे रूप
Rekha khichi
पैसा अगर पास हो तो
पैसा अगर पास हो तो
शेखर सिंह
*करिएगा सब प्रार्थना, हिंदीमय हो देश (कुंडलिया)*
*करिएगा सब प्रार्थना, हिंदीमय हो देश (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
3095.*पूर्णिका*
3095.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
राजस्थानी भाषा में
राजस्थानी भाषा में
भवानी सिंह धानका 'भूधर'
Destiny
Destiny
Shyam Sundar Subramanian
चुनावी मौसम
चुनावी मौसम
Dr. Ramesh Kumar Nirmesh
शेख़ लड़ रओ चिल्ली ते।
शेख़ लड़ रओ चिल्ली ते।
*प्रणय*
*स्वदेशी या विदेशी*
*स्वदेशी या विदेशी*
pratibha Dwivedi urf muskan Sagar Madhya Pradesh
ये साल भी इतना FAST गुजरा की
ये साल भी इतना FAST गुजरा की
Ranjeet kumar patre
गुहार
गुहार
Sonam Puneet Dubey
न किजिए कोशिश हममें, झांकने की बार-बार।
न किजिए कोशिश हममें, झांकने की बार-बार।
ओसमणी साहू 'ओश'
जीवन से पलायन का
जीवन से पलायन का
Dr fauzia Naseem shad
किराये का मकान
किराये का मकान
Shailendra Aseem
New Love
New Love
Vedha Singh
चेहरे पे चेहरा (ग़ज़ल – विनीत सिंह शायर)
चेहरे पे चेहरा (ग़ज़ल – विनीत सिंह शायर)
Vinit kumar
एक छोटी सी मुस्कान के साथ आगे कदम बढाते है
एक छोटी सी मुस्कान के साथ आगे कदम बढाते है
Karuna Goswami
टुकड़े हजार किए
टुकड़े हजार किए
Pratibha Pandey
" मायने "
Dr. Kishan tandon kranti
ये जाने कौन?
ये जाने कौन?
शिवम राव मणि
Loading...