गजब ढा गया
गजब ढा गया
तेरा मुस्कुराना
तेरा तिरछा देखना
तेरा चलना
तेरी नशीली आंखों का जादू
पतली कमर का जादू
तेरे बालों का लहराना
नागिन जैसी चोटी
हिरनी सी चाल
गदराया तन बदन
महकती खुशबू
मेहनत के पसीने की गंध
आप का संवरना सजना
मीठी मीठी बातें तेरी
नशीली नशीली आंखें तेरी
याद हर पल आती है
इन्हीं सब बातों को गौर से देख
ऐसा लगता है कि गज़ब ढह गया हो।
खान मनजीत भावड़िया मजीद
गांव भावड तह गोहाना सोनीपत
9671504409