Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
25 Feb 2021 · 1 min read

क्या लिखूँ – डी के निवातिया

क्या लिखूँ
***
ऐ हुस्न-ए-कातिल, तेरी मचलती अदाओ की शान में क्या लिखूँ I
किसी चमन में खिलता सुर्ख गुलाब,या तेरे चहरे का रुआब लिखूँ I I

टूटा जो दर्पण होकर शर्मशार, इसे तेरी निगाँहों का वार लिखूँ I
इसे मै कत्लेआम कहुँ या तेरी शातिर नजरो का कमाल लिखूँ I I

तेरे गुजरने से चटकती है कलियाँ, क्या गुलशन का हाल लिखूँ I
इसे गुलो की ह्या कहुँ, या तेरी मस्त अदाओं का बवाल लिखूँ I I

ठहर जाती है उफनती सागर की लहरें, क्या उनका मैं हाल लिखूँ I
करती है सजदे ये तेरे सत्कार में,या तेरी रवानी का तूफ़ान लिखूँ I I

बदल जाता है रुख हवाओं का, इसे तेरी आहट का कमाल लिखूँ I
तेरी खुशबू का असर कहुँ या इसे शोख अदाओं का धमाल लिखूँ I I

छुप-छुप के बादलों के बीच, ताकते चाँद का शर्माना आम लिखूँ I
उसे जन्नत की हूर कहुँ ,या ज़मीं पे उतरता बारास्ता चाँद लिखूँ I I
***
स्वरचित: डी के निवातिया

Language: Hindi
Tag: शेर
3 Likes · 404 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
जब कोई शब् मेहरबाँ होती है ।
जब कोई शब् मेहरबाँ होती है ।
sushil sarna
"खिलाफत"
Dr. Kishan tandon kranti
बहुत नफा हुआ उसके जाने से मेरा।
बहुत नफा हुआ उसके जाने से मेरा।
शिव प्रताप लोधी
परफेक्ट बनने के लिए सबसे पहले खुद में झांकना पड़ता है, स्वयं
परफेक्ट बनने के लिए सबसे पहले खुद में झांकना पड़ता है, स्वयं
Seema gupta,Alwar
■ क़तआ (मुक्तक)
■ क़तआ (मुक्तक)
*Author प्रणय प्रभात*
दिए जलाओ प्यार के
दिए जलाओ प्यार के
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
किसी का खौफ नहीं, मन में..
किसी का खौफ नहीं, मन में..
अरशद रसूल बदायूंनी
नारी सम्मान
नारी सम्मान
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
*वो जो दिल के पास है*
*वो जो दिल के पास है*
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
गीत।।। ओवर थिंकिंग
गीत।।। ओवर थिंकिंग
Shiva Awasthi
बे मन सा इश्क और बात बेमन का
बे मन सा इश्क और बात बेमन का
सिद्धार्थ गोरखपुरी
महज़ एक गुफ़्तगू से.,
महज़ एक गुफ़्तगू से.,
Shubham Pandey (S P)
* तुम न मिलती *
* तुम न मिलती *
DR ARUN KUMAR SHASTRI
"गरीबों की दिवाली"
Yogendra Chaturwedi
सम पर रहना
सम पर रहना
Punam Pande
मैं चोरी नहीं करता किसी की,
मैं चोरी नहीं करता किसी की,
Dr. Man Mohan Krishna
राम आ गए
राम आ गए
ओमप्रकाश भारती *ओम्*
आईना
आईना
Dr Parveen Thakur
वास्तविकता से परिचित करा दी गई है
वास्तविकता से परिचित करा दी गई है
Keshav kishor Kumar
न पाने का गम अक्सर होता है
न पाने का गम अक्सर होता है
Kushal Patel
अब जमाना आ गया( गीतिका )
अब जमाना आ गया( गीतिका )
Ravi Prakash
फ़र्क़..
फ़र्क़..
Rekha Drolia
कलियों सा तुम्हारा यौवन खिला है।
कलियों सा तुम्हारा यौवन खिला है।
Rj Anand Prajapati
कोरोना :शून्य की ध्वनि
कोरोना :शून्य की ध्वनि
Mahendra singh kiroula
ख़ास तो बहुत थे हम भी उसके लिए...
ख़ास तो बहुत थे हम भी उसके लिए...
Dr Manju Saini
आत्मरक्षा
आत्मरक्षा
Dr. Pradeep Kumar Sharma
23/151.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
23/151.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
दिल के दरवाज़े
दिल के दरवाज़े
Bodhisatva kastooriya
मात्र नाम नहीं तुम
मात्र नाम नहीं तुम
Mamta Rani
*****सबके मन मे राम *****
*****सबके मन मे राम *****
Kavita Chouhan
Loading...