कालचक्र
आज मौसम यू अपना रंग दिखा रहा है
बनाई दुनिया की चीजों को उड़ा रहा है
हवा के झोंको का ऐसा रुख आ रहा है
कुछ ना कुछ जरूर साथ ले जा रहा है।
लोग पहले से ही परेशान है कॉरोना से
ये दूसरी आफत जिंदगी में ला रहा है
कुछ पंछियों की दुनिया उजड़ रही है
कुछ लोग अपने घर से बेघर हो रहे है।
क्या क्या देखना बाकी है इस 20-20 में
जो ऐसे सब कुछ होता चला जा रहा है
अब बस भी करो ईश्वर कुछ रहम करो
जैसी भी दुनिया पहले थी वैसी ही करो।