Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
23 Jun 2021 · 1 min read

कहीं किसी आसमां पर

कहीं किसी आसमां पर

कहीं किसी आसमां पर लिखा होगा मेरी मंजिल का पता
मैं उसी आसमां को कर लूंगा अपनी मंजिल का हमसफ़र |

बढ़ चलूँगा मैं अपने हौसलों का साथ लिए
एक अदद ख्वाहिश के साथ उस आसमां की ओर |

रोक न पाएगी कोई भी दीवार मुझे बढ़ने से
सकारात्मक सोच को कर लूंगा अपनी धरोहर |

अपने प्रयोजन को अपने मनोयोग का उदेश्य बनाकर
अपनी मंजिल की ओर अग्रसर हो चलूँगा |

मुझे सफल होना ही है इस विचार को कर लूंगा अपनी पूँजी
मुसीबतों , बाधाओं को अपनी राह के मित्र बना लूँगा |

क्यूं कर विश्राम को अपनी राह का रोड़ा बना लूँ
जब तक मंजिल नसीब न हो मुझे अविराम बढना ही होगा |

सफल होने के एहसास को अपनी ऊर्ज़ा स्रोत बनाकर
अपनी कोशिशों को मुझे एक नया आयाम देना ही होगा |

मुझे उम्मीद है मैं अपनी मंजिल एक दिन हासिल कर लूँगा
फिर करूंगा रोशन एक आशियाँ उस आसमां पर जो है मेरी मंजिल का पता |

कहीं किसी आसमां पर लिखा होगा मेरी मंजिल का पता
मैं उसी आसमां को कर लूंगा अपनी मंजिल का हमसफ़र |

बढ़ चलूँगा मैं अपने हौसलों का साथ लिए
एक अदद ख्वाहिश के साथ उस आसमां की ओर ||

Language: Hindi
2 Likes · 2 Comments · 226 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
View all

You may also like these posts

आज की नारी
आज की नारी
Shriyansh Gupta
"टेलीविजन"
Dr. Kishan tandon kranti
Gujarati Poetry | The best of Gujarati kavita & poet | RekhtaGujarati
Gujarati Poetry | The best of Gujarati kavita & poet | RekhtaGujarati
Gujarati literature
कर्म योग: मार्ग और महत्व। ~ रविकेश झा।
कर्म योग: मार्ग और महत्व। ~ रविकेश झा।
Ravikesh Jha
कविता की कथा
कविता की कथा
Arun Prasad
गीतिका छंद
गीतिका छंद
Seema Garg
यूं तन्हाइयों को अपने अंदर समेटे रक्खा है मैंने,
यूं तन्हाइयों को अपने अंदर समेटे रक्खा है मैंने,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
ॐ
सोलंकी प्रशांत (An Explorer Of Life)
नौकरी
नौकरी
Rajendra Kushwaha
തിരക്ക്
തിരക്ക്
Heera S
अब उनकी आँखों में वो बात कहाँ,
अब उनकी आँखों में वो बात कहाँ,
Shreedhar
कुंडलियां
कुंडलियां
seema sharma
निर्भय होकर जाओ माँ
निर्भय होकर जाओ माँ
manorath maharaj
सत्य की कहानी
सत्य की कहानी
Ruchi Sharma
वो इतनी ही हमारी बस सांझली
वो इतनी ही हमारी बस सांझली
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
मोहब्बत
मोहब्बत
पूर्वार्थ
अब किसी से कोई शिकायत नही रही
अब किसी से कोई शिकायत नही रही
ruby kumari
3339.⚘ *पूर्णिका* ⚘
3339.⚘ *पूर्णिका* ⚘
Dr.Khedu Bharti
दादी की कहानी (कविता)
दादी की कहानी (कविता)
गुमनाम 'बाबा'
ले चल पार
ले चल पार
Sarla Mehta
मुझे इमकान है
मुझे इमकान है
हिमांशु Kulshrestha
महात्मा गांधी
महात्मा गांधी
Nitesh Shah
संस्कृति
संस्कृति
Rambali Mishra
मन
मन
Sûrëkhâ
💐💐💐दोहा निवेदन💐💐💐
💐💐💐दोहा निवेदन💐💐💐
भवानी सिंह धानका 'भूधर'
यादों को दिल से मिटाने लगा है वो आजकल
यादों को दिल से मिटाने लगा है वो आजकल
कृष्णकांत गुर्जर
खर्राटा
खर्राटा
Santosh kumar Miri
होती नहीं अराधना, सोए सोए यार।
होती नहीं अराधना, सोए सोए यार।
Manoj Mahato
गम की मुहर
गम की मुहर
हरवंश हृदय
अदब में रहें
अदब में रहें
अनिल कुमार निश्छल
Loading...