“करो प्यार —– जाने के ——- मौका है।”
करो प्यार ,किसने रोका है।
इंसान है !
सभी के पास, मौका है।
प्यार मां से,अपने तात से।
देना कभी न, उनको धोखा है।।
करो प्यार किसने रोका है।।
गुरु ,जिसने ज्ञान दिया।
जीवन जीने का वरदान दिया।
अनिती के पथ पर जाने से,
हमको हर बार टोंका है।।
करो प्यार किसने रोका है।।
“मातृभूमि” का उन्नत हो शीश।
ले इससे हम आशीष,
सब कुछ पाया जिससे।
दे दो सर्वस्व,खुद को मैंने झौैका है।।
करो प्यार किसने रोका है।।
वंचित न रहे, प्यार से कोई।
अनुनय जीवन भर की पूंजी में।
करो प्यार, जीव मात्र से,
जाने के बाद, मिलता कहां मौका है।।
करो प्यार किसने रोका है।।
राजेश व्यास अनुनय