Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
10 Sep 2021 · 1 min read

कबूल होती है सब दुआ से

मिला है जम-जम भी बादिया से
मिली है जिसको रिज़ा ख़ुदा से

नफ़ा मिलेगा तुम्हें दवा से
कुबूल होती है सब दुआ से

उरूज में आज वो है अपने
ज़लील करता है फैसला से

ख़ुदा की नेमत है बन के आयी
बेटी को उड़ने दो हौसला से

शमा जली है पिया के लौ से
नही बुझेगी किसी हवा से

अज़ीम रहबर है दो जहाँ का
असास मजबूत है ख़ुदा से

भुला के उसको बे कस है ‘आकिब’
जहान है ज़िक्र- ए – ख़ुदा से।।

✍️आकिब जावेद

2 Likes · 317 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Akib Javed
View all

You may also like these posts

कोल्हू का बैल
कोल्हू का बैल
Sudhir srivastava
स्नेह का नाता
स्नेह का नाता
डॉ राजेंद्र सिंह स्वच्छंद
- इज्जत और आत्महत्या -
- इज्जत और आत्महत्या -
Priyank Upadhyay
स्याही की इक बूँद
स्याही की इक बूँद
Atul "Krishn"
🙅पूछ रहा दर्शक🙅
🙅पूछ रहा दर्शक🙅
*प्रणय*
4297.💐 *पूर्णिका* 💐
4297.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
यूं इतराया ना कर
यूं इतराया ना कर
Shinde Poonam
"मेरा प्यार "
DrLakshman Jha Parimal
अपनी कलम से.....!
अपनी कलम से.....!
singh kunwar sarvendra vikram
गीत- जब-जब पाप बढ़े दुनिया में...
गीत- जब-जब पाप बढ़े दुनिया में...
आर.एस. 'प्रीतम'
"उम्र के साथ"
Dr. Kishan tandon kranti
"" *मैंने सोचा इश्क करूँ* ""
सुनीलानंद महंत
16, खुश रहना चाहिए
16, खुश रहना चाहिए
Dr .Shweta sood 'Madhu'
अगर मन वचन और कर्मों में मर्यादा न हो तो
अगर मन वचन और कर्मों में मर्यादा न हो तो
Sonam Puneet Dubey
कलश चांदनी सिर पर छाया
कलश चांदनी सिर पर छाया
Suryakant Dwivedi
ऐ ज़िंदगी।
ऐ ज़िंदगी।
Taj Mohammad
होली पर
होली पर
Dr.Pratibha Prakash
तुझको अपनी प्रीत मुबारक
तुझको अपनी प्रीत मुबारक
Meenakshi Bhatnagar
Your best
Your best
Sneha Singh
आंखों में नमी
आंखों में नमी
Mahesh Tiwari 'Ayan'
****महात्मा गाँधी****
****महात्मा गाँधी****
Kavita Chouhan
यूँ तो कभी
यूँ तो कभी
हिमांशु Kulshrestha
रंगों की दुनिया में हम सभी रहते हैं
रंगों की दुनिया में हम सभी रहते हैं
Neeraj Agarwal
मेरे जज़्बात कुछ अलग हैं,
मेरे जज़्बात कुछ अलग हैं,
Sunil Maheshwari
यही तो मजा है
यही तो मजा है
Otteri Selvakumar
साजिशें ही साजिशें....
साजिशें ही साजिशें....
डॉ.सीमा अग्रवाल
अनपढ़े  ग्रन्थ ... ..
अनपढ़े ग्रन्थ ... ..
sushil sarna
ए मौत आ, आज रात
ए मौत आ, आज रात
Ashwini sharma
क्या 'तेवरी' एक विधा? डॉ. विशनकुमार शर्मा
क्या 'तेवरी' एक विधा? डॉ. विशनकुमार शर्मा
कवि रमेशराज
About your heart
About your heart
Bidyadhar Mantry
Loading...