Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
23 Jul 2023 · 1 min read

कड़वा सच~

कड़वा सच~

तात के मुख से ‘ना’ नहीं निकलती है कभी, परंतु आजकल के पुत्रों के मुख से ‘ना’ निकलते देर नहीं लगती।

दिनेश एल० “जैहिंद”

374 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
बंसत पचंमी
बंसत पचंमी
Ritu Asooja
******छोटी चिड़ियाँ*******
******छोटी चिड़ियाँ*******
Dr. Vaishali Verma
"घर की नीम बहुत याद आती है"
Ekta chitrangini
वो दिखाते हैं पथ यात्रा
वो दिखाते हैं पथ यात्रा
प्रकाश
तुमने कितनो के दिल को तोड़ा है
तुमने कितनो के दिल को तोड़ा है
Madhuyanka Raj
जीवन में
जीवन में
ओंकार मिश्र
जीवन का जीवन
जीवन का जीवन
Dr fauzia Naseem shad
𝐓𝐨𝐱𝐢𝐜𝐢𝐭𝐲
𝐓𝐨𝐱𝐢𝐜𝐢𝐭𝐲
पूर्वार्थ
दोहा पंचक. . . . .
दोहा पंचक. . . . .
sushil sarna
चाहो न चाहो ये ज़िद है हमारी,
चाहो न चाहो ये ज़िद है हमारी,
Kanchan Alok Malu
परम तत्व का हूँ  अनुरागी
परम तत्व का हूँ अनुरागी
AJAY AMITABH SUMAN
কেমেৰা
কেমেৰা
Otteri Selvakumar
तुम - हम और बाजार
तुम - हम और बाजार
Awadhesh Singh
* चली रे चली *
* चली रे चली *
DR ARUN KUMAR SHASTRI
बहुत बरस गुज़रने के बाद
बहुत बरस गुज़रने के बाद
शिव प्रताप लोधी
मेरी लाज है तेरे हाथ
मेरी लाज है तेरे हाथ
Umesh उमेश शुक्ल Shukla
सपनें अधूरे हों तो
सपनें अधूरे हों तो
Sonam Puneet Dubey
Hallucination Of This Night
Hallucination Of This Night
Manisha Manjari
" मसला "
Dr. Kishan tandon kranti
बघेली कविता -
बघेली कविता -
Priyanshu Kushwaha
गीत, मेरे गांव के पनघट पर
गीत, मेरे गांव के पनघट पर
Mohan Pandey
ऐसा लगता है कि शोक सभा में, नकली आँसू बहा रहे हैं
ऐसा लगता है कि शोक सभा में, नकली आँसू बहा रहे हैं
Shweta Soni
करो पढ़ाई
करो पढ़ाई
Dr. Pradeep Kumar Sharma
आध्यात्मिक जीवन का अर्थ है कि हम अपने शरीर विचार भावना से पर
आध्यात्मिक जीवन का अर्थ है कि हम अपने शरीर विचार भावना से पर
Ravikesh Jha
सच्ची दोस्ती -
सच्ची दोस्ती -
Raju Gajbhiye
कटु दोहे
कटु दोहे
Suryakant Dwivedi
अलविदा कह कर दिल टूट गया....
अलविदा कह कर दिल टूट गया....
Surya Barman
हिंदी दिवस
हिंदी दिवस
सत्यम प्रकाश 'ऋतुपर्ण'
सर्वनाम के भेद
सर्वनाम के भेद
Neelam Sharma
*साधुता और सद्भाव के पर्याय श्री निर्भय सरन गुप्ता : शत - शत प्रणाम*
*साधुता और सद्भाव के पर्याय श्री निर्भय सरन गुप्ता : शत - शत प्रणाम*
Ravi Prakash
Loading...