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29 Jul 2018 · 1 min read

ऐ साथी

ऐ साथी मेरे जीवन के
ले चल तू साथ आज अपने

छोड़ रीति दुनियाँ की अब तू
नित्य सजा प्रीति साज अपने

हाथ हाथ में ले मेरा तू
सँभाल ले जरा लाज अपने

जैसे ये दो पटरी दिखती
जीवन पटरी चलते अपने

साथ करेगी तय दूरी को
जो पग से पग बढ़ते अपने

दिल नाम किया है जब अपना
समझ तिजोरी रख ले अपने

लौट न देखूँ पीछे वापस
छाँव बना कर रख ले अपने

Language: Hindi
76 Likes · 289 Views
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