ऐसा नहीं होता ___ शेर
ऐसा नहीं होता है जनाब __
हर बार हम ही झुके।
कभी तुम्हारे कदम भी तो __
हमारी कुटिया तक आकर रुके।।
माना नही है फुर्सत तुम्हे तुम्हारी दुनियां से,
हमने तो हर बार जज्बात हमारे,
हर दफा तुम्हारे ही लिए फूंके।।
राजेश व्यास अनुनय