एक मुक्तक- जीने की वजह हो
एक तुम ही तो जीने की वजह हो,
मिले हर गम को पीने की वजह हो,
रहना हमेशा सनम साथ हमारे,
तुम हर दर्द को सहने की वजह हो।
सोनू हंस
एक तुम ही तो जीने की वजह हो,
मिले हर गम को पीने की वजह हो,
रहना हमेशा सनम साथ हमारे,
तुम हर दर्द को सहने की वजह हो।
सोनू हंस