एक पल में
कहते हैं मुझे तेरी शादी,
हो गई अब तेरा वो घर छूट गया।
पर कैसे भूलूं ये की वहां मां,
अब भी रहती तो है
कल की ही तो बात है,
मैं मां के पास थी।
एक दिन बीता तो मैं,
अगले दिन ससुराल में थी खड़ी।
पर अब भी वहां मां रहती तो है।
एक दिन में सब बदल गया,
रिश्ते नाते, रहन सहन।
उठना बैठना ,खाना पीना,
बोल चाल का ढंग अब सहज गया।
मां तेरा चेहरा और बातों का दामन रह गया।
तेरा चेहरा फोटो में दिखता है,
पर क्या करूं दिल तो छूने को करता है।
कैसे मां सब एक पल में बदल गया,
अपना ही घर बीती यादों में सिमट गया