Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
21 Feb 2024 · 1 min read

#उम्र#

यूं इश्क में एक उम्र गुज़री तन्हा
मन परिंदा बारहा उड़ता रहा तन्हा,
उम्र जब ढलने लगी , तो पंख मिले अरमानों को
जिंदगी के फलसफे समझ आने लगे रफ्ता-रफ्ता,

उम्र का बढ़ना दस्तूर-ए- जहां है,पर
इश्क़ के फितूर ने इक उम्र ज़ाया कर दी,
दिल खिलौना है, ये तो जानते थे हम
न जाने क्यूंकर, दिल के हाथों मजबूर हो गए हम,

चलो.. उम्र के इस दौर का भी अपना मज़ा है
शौक़, ख़्वाहिशें, धड़कनें तो अब भी जवां हैं,
जो गुज़र गया ,अफ़सोस क्या करें उसका
ख्वाबों को जीने की ज़िद तो अब भी वैसी ही है.

Language: Hindi
1 Like · 48 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from Madhavi Srivastava
View all
You may also like:
मेरा नाम
मेरा नाम
Yash mehra
रंगमंच कलाकार तुलेंद्र यादव जीवन परिचय
रंगमंच कलाकार तुलेंद्र यादव जीवन परिचय
Tulendra Yadav
राजतंत्र क ठगबंधन!
राजतंत्र क ठगबंधन!
Bodhisatva kastooriya
मुझको कभी भी आज़मा कर देख लेना
मुझको कभी भी आज़मा कर देख लेना
Ram Krishan Rastogi
आत्म  चिंतन करो दोस्तों,देश का नेता अच्छा हो
आत्म चिंतन करो दोस्तों,देश का नेता अच्छा हो
सुखविंद्र सिंह मनसीरत
■ मी एसीपी प्रद्युम्न बोलतोय 😊😊😊
■ मी एसीपी प्रद्युम्न बोलतोय 😊😊😊
*Author प्रणय प्रभात*
मुझे भी जीने दो (भ्रूण हत्या की कविता)
मुझे भी जीने दो (भ्रूण हत्या की कविता)
Dr. Kishan Karigar
सुनो मोहतरमा..!!
सुनो मोहतरमा..!!
Surya Barman
मातु काल रात्रि
मातु काल रात्रि
ओम प्रकाश श्रीवास्तव
दिखावे के दान का
दिखावे के दान का
Dr fauzia Naseem shad
माँ का आँचल जिस दिन मुझसे छूट गया
माँ का आँचल जिस दिन मुझसे छूट गया
Shweta Soni
भटके वन चौदह बरस, त्यागे सिर का ताज
भटके वन चौदह बरस, त्यागे सिर का ताज
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
ला मुरारी हीरो बनने ....
ला मुरारी हीरो बनने ....
Abasaheb Sarjerao Mhaske
देश का वामपंथ
देश का वामपंथ
विजय कुमार अग्रवाल
"आग्रह"
Dr. Asha Kumar Rastogi M.D.(Medicine),DTCD
बात न बनती युद्ध से, होता बस संहार।
बात न बनती युद्ध से, होता बस संहार।
डॉ.सीमा अग्रवाल
बेटा हिन्द का हूँ
बेटा हिन्द का हूँ
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
23/138.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
23/138.*छत्तीसगढ़ी पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
*सिर्फ तीन व्यभिचारियों का बस एक वैचारिक जुआ था।
*सिर्फ तीन व्यभिचारियों का बस एक वैचारिक जुआ था।
Sanjay ' शून्य'
मैंने इन आंखों से गरीबी को रोते देखा है ।
मैंने इन आंखों से गरीबी को रोते देखा है ।
Phool gufran
वफा से वफादारो को पहचानो
वफा से वफादारो को पहचानो
goutam shaw
अगर, आप सही है
अगर, आप सही है
Bhupendra Rawat
मेरी एक सहेली है
मेरी एक सहेली है
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
एक शेर
एक शेर
डॉक्टर वासिफ़ काज़ी
आपन गांव
आपन गांव
Anil "Aadarsh"
काश - दीपक नील पदम्
काश - दीपक नील पदम्
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
*** हमसफ़र....!!! ***
*** हमसफ़र....!!! ***
VEDANTA PATEL
"शख्सियत"
Dr. Kishan tandon kranti
*भंडारे की पूड़ियॉं, हलवे का मधु स्वाद (कुंडलिया)*
*भंडारे की पूड़ियॉं, हलवे का मधु स्वाद (कुंडलिया)*
Ravi Prakash
सोच
सोच
Srishty Bansal
Loading...