इंसान का स्वार्थ और ज़रूरतें ही एक दूसरे को जोड़ा हुआ है जैस
इंसान का स्वार्थ और ज़रूरतें ही एक दूसरे को जोड़ा हुआ है जैसे पृथ्वी बिना गुरुत्वाकर्षण के नही चल सकती वैसे ही व्यक्ति बिना निज हितों और स्वार्थ के कोई भी कार्य नही कर सकते।
RJ Anand Prajapati