इंसानों कों पहचानने में कच्ची हैं तेरी आंखें
इंसानों कों पहचानने में कच्ची हैं तेरी आंखें
तीन साल की मासूम बच्ची हैं तेरी आंखें
कोई बनावटी अंदाज नही उतरता इनमें
तुझसे तो सौ गुना अच्छी हैं तेरी आंखें
खुदा की कसम कितनी बडी़ झुठी है तू
कसम से यार कितनी सच्ची हैं तेरी आंखें
तमाम झुठ तमाम सच फिर भी हैं मासूम
तू तो होगई जवान मगर बच्ची हैं तेरी आंखें