आसान नहीं
देख कर खुद को आईने में
ये जिंदगी हैरान खड़ी है
जिस्म के किसी एक कोने में
ये रूह लहू लुहान पड़ी है
बह गया दिल का कतरा कतरा
बचा कोई भी नामों- निसान नहीं
लम्बी उम्र की दुवाएं देने वालो
जीना इतना भी आसान नहीं
हसरते जल कर खाक हुई
लगी आग अरमानों में
जगमगाते शहर ख्वाबों के
बदल गये विरानों में
इस कदर वीरान हुआ ये दिल
के वीराने भी इतनें वीरान नहीं
लम्बी उम्र की दुवाएं देने वालो
जीना इतना भी आसान नहीं