आता है उनको मजा क्या
आता है उनको मजा क्या, बातें ऐसी करने में।
औरों की बातें सुनकर, बातें ऐसी करने में।।
आता है उनको मजा क्या————–।।
दिलाते हैं क्यों यकीन, किसी को झूठा अपना।
दिखाते हैं क्यों ऐसे, किसी को झूठा सपना।।
देखकर हाल किसी का, देखकर दर्द किसी का।
आता है उनको मजा क्या—————-।।
देखते क्यों नहीं वह, अपनी बस्ती- ओ- जमीं को।
औरों से पहले वह, अपनी करनी- ओ- कमी को।।
करके औरों पर वहम, अपने पापों पर करके पर्दा।
आता है उनको मजा क्या—————।।
फजीहत जब कभी होगी, उनकी किसी महफ़िल में।
काँटें जब बिछे होंगे, कभी उनकी भी मंजिल में।।
होगी क्या उनकी हालत, देखकर मुश्किल ऐसी।
आता है उनको मजा क्या—————।।
शिक्षक एवं साहित्यकार
गुरुदीन वर्मा उर्फ जी.आज़ाद
तहसील एवं जिला- बारां(राजस्थान)