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3 Dec 2020 · 1 min read

आज का प्रजतन्त्र

भोली भाली जनता की कौन सुने आवाज,
नेता बहरे हो गए,प्रजतन्त्र में सभी आज |

पढ़े लिखे बेकार घूम रहे,उन्हें मिले न काज ,
बे पढ़े मजे ले रहे ओढ़ रहे वे सत्ता का ताज |

गूंगा गाता बहरा ताल लगाता सत्ता में आज ,
वोटो पर नोटों का राज प्रजातंत्र ऐसा आज |

लगड़ा नाचे अँधा देखे प्रजातंत्र में सब आज,
देखो भैया फिर भी करते प्रजतन्त्र पर नाज |

आर के रस्तोगी
गुरुग्राम

Language: Hindi
2 Likes · 3 Comments · 216 Views
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