आँधियों से स्वयं को बचाते रहे
आँधियों से स्वयं को बचाते रहे
जुगनुओं से अँधेरे भगाते रहे
सुन सकोगे हमारी न तुम दास्तां
किस तरह ज़िन्दगी से निभाते रहे
09-08-2022
डॉअर्चना गुप्ता
आँधियों से स्वयं को बचाते रहे
जुगनुओं से अँधेरे भगाते रहे
सुन सकोगे हमारी न तुम दास्तां
किस तरह ज़िन्दगी से निभाते रहे
09-08-2022
डॉअर्चना गुप्ता