अष्टविनायक के सदा
अष्टविनायक के सदा, मोदक सोहे हाथ ।
श्री गणराया दुख हरो, हम भक्तों के नाथ ।।
लंबोदर तू मोरया, माँ गौरी के प्राण ।
हर घर में पूजे तुझे, मंगल मुर्ति सुजान ।।
अष्टविनायक के सदा, मोदक सोहे हाथ ।
श्री गणराया दुख हरो, हम भक्तों के नाथ ।।
लंबोदर तू मोरया, माँ गौरी के प्राण ।
हर घर में पूजे तुझे, मंगल मुर्ति सुजान ।।