अफसाना
मैनें चंद बाते कह दी तो हंगामा हो गया।
मैं रह गया अकेला,संग उनके जमाना हो गया।।
तलवे चाट कर बैठा है जो शक्स।
वो दो ही दिन मे शयाना हो गया।।
यह बात तो आँखो से पढ्ने की थी ,
और वो कागज़ कलम ले आये।
मैं सोचता रहा और मेरी तरफ वीराना हो गया।
जिन्दगी गुजर रही है,इसे उसे सबको खुश करने मे।
मैं कुछ जीता अपने लिये भी,और लोग कहते हैं मैं दीवाना हो गया।
किसे गैर कहे कोन अपना है अब यह तो केवल अफसाना रह गया।।