Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
3 Aug 2022 · 1 min read

अनकही दिल की बातें ..

बेजुबानों से प्यार करने वाले किस्मत वाले होते है ,
मगर इन जैसी पवित्र आत्माओं को प्यार करने के लिए दिल चाहिए ।और यही दिल आज के इंसानों में नहीं है ,इंसान के लिए इंसान में दिल नहीं है तो
बेजुबानों के लिए कहां से आयेगा !
अजी ! उनकी मासूम आंखों से छलकते भावों को पढ़ने की लियाकत और फुर्सत आज के इंसानों के पास है कहां ! इंसान इंसान को ही समझ ले तो बड़ी बात है ।बेजुबानों की तो बात ही छोड़ो। कुछ बचे खुचे कोमल हृदय वाले इंसान अपनी कई अनकही दिल की बातें दिल में ही रखकर मर जाते है तो बेचारा पशु तो बोल ही नहीं सकता !उसे कौन समझेगा ?
ऐसा सुनते आए है की बेजुबानों की जुबान को ,
और सादा दिल ,भोले और शरीफ इंसानों की मन की बात परमात्मा समझ लेता है ।और वही जायदा बोलने वालों की आवाज़ बंद भी कर देता है । क्या यह सच है ?

Language: Hindi
Tag: लेख
330 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from ओनिका सेतिया 'अनु '
View all
You may also like:
पाक दामन मैंने महबूब का थामा है जब से।
पाक दामन मैंने महबूब का थामा है जब से।
Phool gufran
सुकून में जिंदगी है मगर जिंदगी में सुकून कहां
सुकून में जिंदगी है मगर जिंदगी में सुकून कहां
कवि दीपक बवेजा
बहुत ही घना है अंधेरा घृणा का
बहुत ही घना है अंधेरा घृणा का
Shivkumar Bilagrami
वो कपटी कहलाते हैं !!
वो कपटी कहलाते हैं !!
Ramswaroop Dinkar
सीख गुलाब के फूल की
सीख गुलाब के फूल की
Mangilal 713
एक दिवस में
एक दिवस में
Shweta Soni
पल्लवित प्रेम
पल्लवित प्रेम
Er.Navaneet R Shandily
तूझे क़ैद कर रखूं ऐसा मेरी चाहत नहीं है
तूझे क़ैद कर रखूं ऐसा मेरी चाहत नहीं है
Keshav kishor Kumar
ज़िंदगी का दस्तूर
ज़िंदगी का दस्तूर
Shyam Sundar Subramanian
यदि आप जीत और हार के बीच संतुलन बना लिए फिर आप इस पृथ्वी पर
यदि आप जीत और हार के बीच संतुलन बना लिए फिर आप इस पृथ्वी पर
Ravikesh Jha
प्यार और धोखा
प्यार और धोखा
Dr. Rajeev Jain
*लफ्ज*
*लफ्ज*
Kumar Vikrant
कान्हा तेरी मुरली है जादूभरी
कान्हा तेरी मुरली है जादूभरी
krishna waghmare , कवि,लेखक,पेंटर
बड़ी मुद्दतों के बाद
बड़ी मुद्दतों के बाद
VINOD CHAUHAN
प्रेमी चील सरीखे होते हैं ;
प्रेमी चील सरीखे होते हैं ;
ब्रजनंदन कुमार 'विमल'
प्यार के मायने
प्यार के मायने
SHAMA PARVEEN
*बदल सकती है दुनिया*
*बदल सकती है दुनिया*
सुरेन्द्र शर्मा 'शिव'
यूँ तो सब
यूँ तो सब
हिमांशु Kulshrestha
"कथरी"
Dr. Kishan tandon kranti
आवाज़
आवाज़
Dipak Kumar "Girja"
एक ही रब की इबादत करना
एक ही रब की इबादत करना
अरशद रसूल बदायूंनी
*ईख (बाल कविता)*
*ईख (बाल कविता)*
Ravi Prakash
गीत- पिता संतान को ख़ुशियाँ...
गीत- पिता संतान को ख़ुशियाँ...
आर.एस. 'प्रीतम'
यक़ीनन खंडहर हूँ आज,
यक़ीनन खंडहर हूँ आज,
*प्रणय*
पल पल है जिंदगी जिले आज
पल पल है जिंदगी जिले आज
Ranjeet kumar patre
हरि हृदय को हरा करें,
हरि हृदय को हरा करें,
sushil sarna
कोई जोखिम नहीं, कोई महिमा नहीं
कोई जोखिम नहीं, कोई महिमा नहीं"
पूर्वार्थ
चूल्हे की रोटी
चूल्हे की रोटी
प्रीतम श्रावस्तवी
सोहर
सोहर
Indu Singh
2901.*पूर्णिका*
2901.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
Loading...