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2 Nov 2024 · 1 min read

अजीब बैचैनी है मुझ में………

अजीब बैचैनी है मुझ में………
मुझे ऐ दिल..ले चल…..फिर
तन्हाइयों ….में……के
ये शोर अब मुझे रास आता नहीं है

Language: Hindi
20 Views
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