Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
18 Feb 2021 · 1 min read

अच्छा लगता है

?
पीले पत्तों का झर जाना, अच्छा लगता है।
फिर से नव किसलय हरियाना, अच्छा लगता है।। 1

आमों की डाली पर लगता, बौर महकने जब,
बागों में कोयल का गाना, अच्छा लगता है।। 2

तन-मन हर्षाती सरसों के, फूलों की खुशबू,
कोमल कलियों का गदराना, अच्छा लगता है।। 3

जिनसे बिन्दु टपकते मधु के, लोभी भ्रमरों को-
उन अधरों से अधर मिलाना, अच्छा लगता है।। 4

तरु की सुघर टहनियों पर फल, आते ही उनका,
विनम्रता से शीश झुकाना, अच्छा लगता है।। 5

प्रकृति भला ही करती सबका, नित नूतन विधि से,
उसका निज कर्त्तव्य निभाना, अच्छा लगता है।। 6

दिल की बातें जो कह लेता, सुन लेता ‘निश्छल’,
मित्र वही जाना-पहचाना, अच्छा लगता है।। 7
*

-श्रीकान्त निश्छल, प्रज्ञालोक, मोहमदी, उ.प्र.

1 Like · 272 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
🙅आज का मत🙅
🙅आज का मत🙅
*प्रणय प्रभात*
आज लिखने बैठ गया हूं, मैं अपने अतीत को।
आज लिखने बैठ गया हूं, मैं अपने अतीत को।
SATPAL CHAUHAN
हुई नैन की नैन से,
हुई नैन की नैन से,
sushil sarna
मात्र एक पल
मात्र एक पल
Ajay Mishra
"दोस्ती-दुश्मनी"
Dr. Kishan tandon kranti
लोगो खामोश रहो
लोगो खामोश रहो
Surinder blackpen
तुम गर मुझे चाहती
तुम गर मुझे चाहती
Lekh Raj Chauhan
3500.🌷 *पूर्णिका* 🌷
3500.🌷 *पूर्णिका* 🌷
Dr.Khedu Bharti
मुझसे बेज़ार ना करो खुद को
मुझसे बेज़ार ना करो खुद को
Shweta Soni
“ऐसी दोस्ती”
“ऐसी दोस्ती”
DrLakshman Jha Parimal
व्यक्तिगत अभिव्यक्ति
व्यक्तिगत अभिव्यक्ति
Shyam Sundar Subramanian
लिट्टी छोला
लिट्टी छोला
आकाश महेशपुरी
पसंद मेरे जीवन में
पसंद मेरे जीवन में
Dr fauzia Naseem shad
किसी अनमोल वस्तु का कोई तो मोल समझेगा
किसी अनमोल वस्तु का कोई तो मोल समझेगा
कवि दीपक बवेजा
If someone wants you in their life, they will do anything to
If someone wants you in their life, they will do anything to
पूर्वार्थ
बनवास की अंतिम रात्रि
बनवास की अंतिम रात्रि
Shashi Mahajan
"साम","दाम","दंड" व् “भेद" की व्यथा
Dr. Harvinder Singh Bakshi
Thought
Thought
अनिल कुमार गुप्ता 'अंजुम'
तेरे बिना
तेरे बिना
DR ARUN KUMAR SHASTRI
मैं रात भर मैं बीमार थीऔर वो रातभर जागती रही
मैं रात भर मैं बीमार थीऔर वो रातभर जागती रही
Dr Manju Saini
उसके नाम के 4 हर्फ़ मेरे नाम में भी आती है
उसके नाम के 4 हर्फ़ मेरे नाम में भी आती है
Madhuyanka Raj
वो अब नहीं आयेगा...
वो अब नहीं आयेगा...
मनोज कर्ण
सीप से मोती चाहिए तो
सीप से मोती चाहिए तो
Harminder Kaur
बीज अंकुरित अवश्य होगा
बीज अंकुरित अवश्य होगा
VINOD CHAUHAN
നിങ്ങളോട്
നിങ്ങളോട്
Heera S
प्रेम : तेरे तालाश में....!
प्रेम : तेरे तालाश में....!
VEDANTA PATEL
कागज की कश्ती
कागज की कश्ती
Ritu Asooja
हाथों में हाथ लेकर मिलिए ज़रा
हाथों में हाथ लेकर मिलिए ज़रा
हिमांशु Kulshrestha
धुंध छाई उजाला अमर चाहिए।
धुंध छाई उजाला अमर चाहिए।
Rajesh Tiwari
प्रेम पर बलिहारी
प्रेम पर बलिहारी
Umesh उमेश शुक्ल Shukla
Loading...