Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
20 Jan 2017 · 1 min read

पैबंद

पैबंद – पंकज त्रिवेदी
*
बचपन में जब
नहलाकर माँ मुझे तैयार करती
और फटी सी हाफ पेंट पैबंद लगाकर
माँ मुझे स्कूल भेजना चाहती थी तब
मैं नाराज़ होकर हाफ पेंट पहनने का
इनकार कर देता था…

पिताजी उस वक्त मुझे समझाकर कहते
मैं जब शहर में जाऊँगा तो तेरे लिए
नए कपड़े जरूर ले आऊँगा और फिर
मैं उनकी बात पर भरोसा रखकर
पेबंद लगाई हुई हाफ पेंट पहनाकर
स्कूल चला जाता था….

दो दिन से स्कूटी बंद हो गई थी
बेटी ने अपनी माँ से कहा था कि
मैं पैदल स्कूल कैसे जाऊँ ?
पापा को वक्त ही नहीं मिलता
उसकी माँ ने मुझे कहा भी, कुछ करो
आज स्कूटी की चाबी बेटी के हाथों में
थमाते हुए मैंने उसके चेहरे को देखा
वो बहुत खुश थी और स्कूल के लिए
उत्साह उमड़ रहा था….

कितना फर्क हो गया है दो पीढीयों के बीच
मगर यही सत्य है उसे स्वीकार करना होगा
यही सोचता हूँ मैं आँगन में रहे झूले पे
बैठा हुआ खुद में खुद की तलाश करता हुआ…
और… लगता है, दो पीढ़ियों के बीच हम भी
लगा रहे हैं पैबंद….

_________________

Language: Hindi
340 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
You may also like:
** मुक्तक **
** मुक्तक **
surenderpal vaidya
सूरज जैसन तेज न कौनौ चंदा में।
सूरज जैसन तेज न कौनौ चंदा में।
सत्य कुमार प्रेमी
परत दर परत
परत दर परत
Juhi Grover
दुनिया मे नाम कमाने के लिए
दुनिया मे नाम कमाने के लिए
शेखर सिंह
एकाकीपन
एकाकीपन
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
दृढ़ निश्चय
दृढ़ निश्चय
विजय कुमार अग्रवाल
शायरी - ग़ज़ल - संदीप ठाकुर
शायरी - ग़ज़ल - संदीप ठाकुर
Sandeep Thakur
त्याग
त्याग
डॉ. श्री रमण 'श्रीपद्'
54….बहर-ए-ज़मज़मा मुतदारिक मुसम्मन मुज़ाफ़
54….बहर-ए-ज़मज़मा मुतदारिक मुसम्मन मुज़ाफ़
sushil yadav
*मुहर लगी है आज देश पर, श्री राम के नाम की (गीत)*
*मुहर लगी है आज देश पर, श्री राम के नाम की (गीत)*
Ravi Prakash
भूल भूल हुए बैचैन
भूल भूल हुए बैचैन
तारकेश्‍वर प्रसाद तरुण
प्यार किया हो जिसने, पाने की चाह वह नहीं रखते।
प्यार किया हो जिसने, पाने की चाह वह नहीं रखते।
Yogi Yogendra Sharma : Motivational Speaker
"दो नावों पर"
Dr. Kishan tandon kranti
ग़ज़ल
ग़ज़ल
Phool gufran
ज़िंदगी ने कहां
ज़िंदगी ने कहां
Dr fauzia Naseem shad
बीवी के अंदर एक मां छुपी होती है,
बीवी के अंदर एक मां छुपी होती है,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
A heart-broken Soul.
A heart-broken Soul.
Manisha Manjari
तेरी याद.....!
तेरी याद.....!
singh kunwar sarvendra vikram
विषय- सत्य की जीत
विषय- सत्य की जीत
rekha mohan
3) “प्यार भरा ख़त”
3) “प्यार भरा ख़त”
Sapna Arora
'आप ' से ज़ब तुम, तड़ाक,  तूँ  है
'आप ' से ज़ब तुम, तड़ाक, तूँ है
सिद्धार्थ गोरखपुरी
छलियों का काम है छलना
छलियों का काम है छलना
©️ दामिनी नारायण सिंह
मेरी सच्चाई को बकवास समझती है
मेरी सच्चाई को बकवास समझती है
Keshav kishor Kumar
अब तो गिरगिट का भी टूट गया
अब तो गिरगिट का भी टूट गया
Paras Nath Jha
आग लगाते लोग
आग लगाते लोग
DR. Kaushal Kishor Shrivastava
■ बिल्ली लड़ाओ, रोटी खाओ अभियान जारी।
■ बिल्ली लड़ाओ, रोटी खाओ अभियान जारी।
*प्रणय प्रभात*
नरसिंह अवतार
नरसिंह अवतार
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
ये तो दुनिया है यहाँ लोग बदल जाते है
ये तो दुनिया है यहाँ लोग बदल जाते है
shabina. Naaz
महत्वपूर्ण यह नहीं कि अक्सर लोगों को कहते सुना है कि रावण वि
महत्वपूर्ण यह नहीं कि अक्सर लोगों को कहते सुना है कि रावण वि
Jogendar singh
kavita
kavita
Rambali Mishra
Loading...