Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
31 Mar 2023 · 1 min read

खुदा के वास्ते

खुदा के वास्ते
सुकूने दिल के लिए
अब नजर आओ

54 Views
Join our official announcements group on Whatsapp & get all the major updates from Sahityapedia directly on Whatsapp.

Books from shabina. Naaz

You may also like:
".... कौन है "
Aarti sirsat
एक हैसियत
एक हैसियत
नील पदम् Deepak Kumar Srivastava (दीपक )(Neel Padam)
एक अच्छाई उसी तरह बुराई को मिटा
एक अच्छाई उसी तरह बुराई को मिटा
shabina. Naaz
क्या कहे हम तुमको
क्या कहे हम तुमको
gurudeenverma198
सफ़ेदे का पत्ता
सफ़ेदे का पत्ता
नन्दलाल सुथार "राही"
💐प्रेम कौतुक-436💐
💐प्रेम कौतुक-436💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
एक अजब सा सन्नाटा है
एक अजब सा सन्नाटा है
लक्ष्मी सिंह
तुम पलाश मैं फूल तुम्हारा।
तुम पलाश मैं फूल तुम्हारा।
Dr. Seema Varma
करें आराधना मां की, आ गए नौ दिन शक्ति के।
करें आराधना मां की, आ गए नौ दिन शक्ति के।
umesh mehra
ये हवाएँ
ये हवाएँ
VINOD KUMAR CHAUHAN
बो रही हूं खाब
बो रही हूं खाब
Surinder blackpen
दर्दे दिल…….!
दर्दे दिल…….!
Awadhesh Kumar Singh
त्याग करने वाला
त्याग करने वाला
Buddha Prakash
शक्ति साधना सब करें
शक्ति साधना सब करें
surenderpal vaidya
वर्दी
वर्दी
Satish Srijan
बड़ा मायूस बेचारा लगा वो।
बड़ा मायूस बेचारा लगा वो।
सत्य कुमार प्रेमी
अंधों के हाथ
अंधों के हाथ
Umesh उमेश शुक्ल Shukla
मैं भारत हूं (काव्य)
मैं भारत हूं (काव्य)
AMRESH KUMAR VERMA
दादी माँ
दादी माँ
Fuzail Sardhanvi
जब तुम एक बड़े मकसद को लेकर चलते हो तो छोटी छोटी बाधाएं तुम्
जब तुम एक बड़े मकसद को लेकर चलते हो तो छोटी छोटी बाधाएं तुम्
Drjavedkhan
युद्ध नहीं जिनके जीवन में,
युद्ध नहीं जिनके जीवन में,
Sandeep Mishra
मौत की आड़ में
मौत की आड़ में
Dr fauzia Naseem shad
बींसवीं गाँठ
बींसवीं गाँठ
Shashi Dhar Kumar
पहले नामकरण
पहले नामकरण
*Author प्रणय प्रभात*
देख रहा था पीछे मुड़कर
देख रहा था पीछे मुड़कर
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
होली
होली
सूरज राम आदित्य (Suraj Ram Aditya)
ये कैसी शायरी आँखों से आपने कर दी।
ये कैसी शायरी आँखों से आपने कर दी।
Prabhu Nath Chaturvedi
*लोकतंत्र में होता है,मतदान एक त्यौहार (गीत)*
*लोकतंत्र में होता है,मतदान एक त्यौहार (गीत)*
Ravi Prakash
तंग गलियों में मेरे सामने, तू आये ना कभी।
तंग गलियों में मेरे सामने, तू आये ना कभी।
Manisha Manjari
शिखर ब्रह्म पर सबका हक है
शिखर ब्रह्म पर सबका हक है
मनोज कर्ण
Loading...