Sahityapedia
Login Create Account
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
23 Jan 2017 · 1 min read

किया प्यार मैंने करो प्यार तुम भी

किया प्यार मैंने करो प्यार तुम भी
निभाना मेरे साथ ये प्यार तुम भी

गलतफहमियां जो खड़ी दरमियाँ है
खतावार गर मैं खतावार तुम भी

नहीं रार आपस में मैं होने दूँगा
न करना कभी कोई तकरार तुम भी

न लब कह सकें तो निगाहों से कह दो
मगर प्यार का कर दो इजहार तुम भी

बदल राह दी मैंने अब जिन्दगी में
बसा इक नया लेना संसार तुम भी

मिटा डाला जब मैंने खुद दूरियों को
तभी तोड़ देते ये दीवार तुम भी

मनाता रहा ‘अर्चना’ बस तुम्हें मैं
रही आस ये करते मनुहार तुम भी

डॉ अर्चना गुप्ता

2 Likes · 296 Views

Books from Dr Archana Gupta

You may also like:
माँ दुर्गा।
माँ दुर्गा।
Anil Mishra Prahari
💐💐यह सफ़र कभी ख़त्म नहीं होगा💐💐
💐💐यह सफ़र कभी ख़त्म नहीं होगा💐💐
शिवाभिषेक: 'आनन्द'(अभिषेक पाराशर)
कहाँ छूते है कभी आसमाँ को अपने हाथ
कहाँ छूते है कभी आसमाँ को अपने हाथ
'अशांत' शेखर
सत्य सनातन पंथ चलें सब, आशाओं के दीप जलें।
सत्य सनातन पंथ चलें सब, आशाओं के दीप जलें।
संजीव शुक्ल 'सचिन'
✍️दूरियाँ वो भी सहता है ✍️
✍️दूरियाँ वो भी सहता है ✍️
Vaishnavi Gupta (Vaishu)
पत्थर
पत्थर
नंदलाल मणि त्रिपाठी पीताम्बर
Mere hisse me ,
Mere hisse me ,
Sakshi Tripathi
2023
2023
AJAY AMITABH SUMAN
पुरुष की अभिलाषा स्त्री से
पुरुष की अभिलाषा स्त्री से
Anju ( Ojhal )
करवा चौथ
करवा चौथ
Vindhya Prakash Mishra
दादी माँ
दादी माँ
Fuzail Sardhanvi
दुःख
दुःख
Dr. Kishan tandon kranti
अब आये हो तो वो बारिश भी साथ लाना, जी भरकर रो कर, जिससे है हमें उबर जाना।
अब आये हो तो वो बारिश भी साथ लाना, जी...
Manisha Manjari
शरद पूर्णिमा
शरद पूर्णिमा
अभिनव अदम्य
पिता का सपना
पिता का सपना
Prabhudayal Raniwal
*कोहरा बहुत जरूरी(बाल कविता)*
*कोहरा बहुत जरूरी(बाल कविता)*
Ravi Prakash
कलम
कलम
शायर देव मेहरानियां
रोशन
रोशन
अंजनीत निज्जर
■ आक्रमण...
■ आक्रमण...
*Author प्रणय प्रभात*
जीवन में खुश कैसे रहें
जीवन में खुश कैसे रहें
Dr fauzia Naseem shad
लगइलू आग पानी में ghazal by Vinit Singh Shayar
लगइलू आग पानी में ghazal by Vinit Singh Shayar
Vinit kumar
मजबूर हूँ मज़दूर हूँ..
मजबूर हूँ मज़दूर हूँ..
पंकज कुमार शर्मा 'प्रखर'
पूजा नहीं, सम्मान दें!
पूजा नहीं, सम्मान दें!
Shekhar Chandra Mitra
शब्द यदि हर अर्थ का, पर्याय होता जायेगा
शब्द यदि हर अर्थ का, पर्याय होता जायेगा
महावीर उत्तरांचली • Mahavir Uttranchali
लोकतंत्र में तानाशाही
लोकतंत्र में तानाशाही
Vishnu Prasad 'panchotiya'
खुदसे ही लड़ रहे हैं।
खुदसे ही लड़ रहे हैं।
Taj Mohammad
"बच्चों की दुनिया"
Dr Meenu Poonia
हर कोई जिन्दगी में अब्बल होने की होड़ में भाग रहा है
हर कोई जिन्दगी में अब्बल होने की होड़ में भाग...
कवि दीपक बवेजा
मेरे स्वयं पर प्रयोग
मेरे स्वयं पर प्रयोग
Ankit Halke jha
Shayri
Shayri
श्याम सिंह बिष्ट
Loading...