Dhirendra Panchal Tag: कविता 33 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Dhirendra Panchal 29 Jan 2023 · 1 min read जीनगी हो गइल कांट देखा बबुआ पहिले वाली बात तोहे समझाइब । मत बुझिहा की ताना हउवे बुड़बक तोहें बनाइब । दुनिया के ई पहिल पहाड़ा बच के रहा बचा के । प्यार मोहब्बत... Bhojpuri · कविता · हास्य · हास्य-व्यंग्य 320 Share Dhirendra Panchal 30 Sep 2022 · 1 min read उम्र गुजर जाने के बाद इतना तो मैं जान गया हूँ । थोड़ा तो पहचान गया हूँ । सब कुछ मेरे हाथ लगेगा , उम्र गुजर जाने के बाद । बिन रहा हूँ तिनका तिनका... Hindi · उम्र · कविता · जीवन · संघर्ष 2 155 Share Dhirendra Panchal 30 May 2022 · 1 min read ए बदरी सुखि गइलें पोखरा आ जर गइलें टपरी , ए बदरी । कउना बात पे कोहाइ गइलू ए बदरी । देखा पेड़वा झुराई गइलें ए बदरी । बनरा के पेट पीठ... Bhojpuri · कविता 384 Share Dhirendra Panchal 24 May 2022 · 1 min read बेजुबान बेजुबानों को बचाने की गजब साजिश चली , देखकर व्यापार मरघट को पसीना आ गया । देखते ही देखते तकनीक ऐसी आ गई , छेदकर नथुनों को हमको दूध पीना... Hindi · कविता 2 2 353 Share Dhirendra Panchal 21 May 2022 · 1 min read रामे क बरखा ह रामे क छाता पटरा पे चदरा बिछाय जालें सुती । खाए के नून भात मरचा आ रोटी । जिनिगी गरीब के अस होरहा भुजाता । त रामे क बरखा ह रामे क छाता... Bhojpuri · कविता 4 1 668 Share Dhirendra Panchal 21 May 2022 · 1 min read कौन आएगा है धरा उदघोष करती लालिमा आकाश की । शुष्क होते ताल पोखर क्यों प्रतीक्षा प्यास की । चूक गया गर आज फिर तु कल कहाँ से पाएगा ? खुद उठो... Hindi · कविता 2 2 266 Share Dhirendra Panchal 4 May 2022 · 1 min read हनुमंता ढांढस बन्हाई के जोहाई समुझाई के त शक्ति के भान उ करउलैं जमवंता । साहस न बाटे केहू तोहरा के रोके टोके छेके डाँड़ डहरी हो चाहे भगवंता । सिया... Bhojpuri · कविता 3 1 498 Share Dhirendra Panchal 13 Apr 2022 · 1 min read मेरे बेटे ने छोड़ दिया है दामन मेरा मेरे बेटे ने। दूर हो जाओ दोनों बोला मेरे बेटे ने। जिसको राजा बेटा कहकर रोज बुलाते थे। जिसका सर सहलाकर पूरी रात सुलाते थे।... Hindi · कविता 2 2 508 Share Dhirendra Panchal 6 Apr 2022 · 1 min read शारदा अंचरा के छाँव राखा दियवा के जार राखा , हियरा में ज्योति दा अपार माई शारदा । बुद्धि दा बिचार दा तू सरल सुभाव दा तू , प्रेम में अभाव... Bhojpuri · कविता 156 Share Dhirendra Panchal 6 Apr 2022 · 1 min read बदरिया चान छुपउले जाली कहवाँ , घुँघटा तनिक उठाव । बदरिया हमरो केने आव । बदरिया हमरो केने आव । झुलस रहल धरती के काया छाया ना भगवान लगे । तोहरे... Bhojpuri · कविता 1 222 Share Dhirendra Panchal 23 Jan 2022 · 1 min read साहब इन वर्दियों में कौन से धागे लगाते हैं । गर्मियां वे बस गरीबों पर दिखाते हैं । ठेलों से उठा लेते हैं वो अंगूर के दाने । जैसे बाप का... Hindi · कविता 270 Share Dhirendra Panchal 17 Jan 2022 · 1 min read तेरे ख्वाबों के सहारे तेरे ख्वाबों के सहारे , चलती कश्ती ये किनारे , ऊपर से दरिया का पानी बेहिसाब । अब तो मंजिल तुझको पाना , तेरी चाहत में खो जाना , अफ़साना... Hindi · कविता 269 Share Dhirendra Panchal 25 Dec 2021 · 1 min read नयका साल मुबारक बीत गयल जे बीते वाला साल तोहें मुबारक । फिर से आयल नयका चुड़ा भात तोहें मुबारक । फिर से आई खिचड़ी मंटर गोभी संग छउँकाई । नयका फगुआ सरसो... Hindi · कविता 1 389 Share Dhirendra Panchal 18 Nov 2021 · 1 min read पता तुम्हारा सर्द हवाएँ मुझसे पूछेंगी क्या बोलूंगा । पता तुम्हारा किस पन्ने पर लिख लिख भेजूँगा । लिख दूंगा मैं तन्हा खाली यादें उनकी हैं । दीवारों पे पहरा दिल की... Hindi · कविता 379 Share Dhirendra Panchal 30 Oct 2021 · 1 min read दिवाली में फुलझड़ियों के पैसे तुम भी , कर दो दान दिवाली में ।। ख़ुद के हाथों बिक ना जाए , स्वाभिमान दिवाली में ।। बच्चों के इस भूखे तन को ,... Hindi · कविता 358 Share Dhirendra Panchal 30 Oct 2021 · 1 min read बनल रहा बरियार मोदी जी छूट गइल कुल यार संघाती , घरवां के परिपाटी । दिन से भइली हीन गाँव क गरियावेले माटी । धय धय लोला दाबेले सरकार मोदी जी । राम करें तूं... Hindi · कविता 206 Share Dhirendra Panchal 16 Jul 2021 · 1 min read अरे राम रे राम खात गरीबी लात इहाँ हव , चिक्कन खाली बात इहाँ हव । प्रतिस्पर्धा जात क हउवे , झगड़ा खाली भात क हउवे । अधिकारीन में बाँटल जाला , देखा केतना... Hindi · कविता 672 Share Dhirendra Panchal 5 Jun 2021 · 1 min read महँगाई अइसे ना उकेरीं हाई जिनिगी के खोल के ।। ए हो सरकार बढ़े दाम पेटरोल के । ए मोदी बाबा बढ़ता दाम पेटरोल के । महँगा अनाज भइल खरी तेल... Hindi · कविता 271 Share Dhirendra Panchal 8 May 2021 · 1 min read जबरी दूध पियावल जाला गाढ़े परल समइया हाथे दुब जमावल जाला । सांसत में लरिका के जबरी दूध पियावल जाला । जइसे तइसे कटे उमिरिया डेरवावे परछाईं । कफ़न सरीखा इंतजाम सब कइले बा... Hindi · कविता 1 2 467 Share Dhirendra Panchal 16 Apr 2021 · 1 min read बस संवरती रहे वो गरजती रहे , वो बरसती रहे । मेरी जान है वो याद मुझे करती रहे । ऐ खुदा तुझसे इतनी सिफ़ारिश मेरी , वो जहां भी रहे बस संवरती... Hindi · कविता 1 371 Share Dhirendra Panchal 17 Feb 2021 · 2 min read मैं भी चौकीदार भारत माँ की पीड़ा गाने वाले वे सब कहाँ गए । मैं भी चौकीदार बताने वाले वे सब कहाँ गए । मखमल के गद्दे हैं मिलते चाटुकार गद्दारों को ।... Hindi · कविता 1 2 355 Share Dhirendra Panchal 17 Feb 2021 · 1 min read प्यार के किस्से मिले थे कल जो तुमसे हम , उसी बाजार के किस्से । लिखूंगा आज कागज पर , हमारे प्यार के किस्से । पलटकर देखता था मैं , इरादे नेक थे... Hindi · कविता 1 330 Share Dhirendra Panchal 20 Jul 2020 · 1 min read मधुशाला मंदिर - मस्जिद बन्द रहेंगे , खुली रहेगी मधुशाला ।। है उसने फरमान सुनाया , उसने है फरमान सुनाया , जो अमृत का रखवाला । मंदिर - मस्जिद बन्द रहेंगे... Hindi · कविता 4 1 406 Share Dhirendra Panchal 2 Jul 2020 · 1 min read बचकानी बातें तेरी ये बचकानी बातें , तेरी वो बचकानी बातें ।। हर रोज जगाया करती मुझको वो शैतानी बातें । तेरी ये बचकानी बातें ......... हंसना और शर्माना तेरा करती दिल... Hindi · कविता 1 2 444 Share Dhirendra Panchal 5 Feb 2020 · 1 min read संगम का छात्र जीवन हे मृत्युंजय हे दुःखभंजन , कष्ट निवारो आय । ये तो मोदी की सरकार हमसे बनवाएगी चाय । छोटे से कमरे में जीवन डिब्बा समझ बिताते । सबसे सस्ती सब्जी... Hindi · कविता 361 Share Dhirendra Panchal 4 Feb 2020 · 1 min read मेरे पापा मेरे सपनों के खरीदार , खड़े हैं पापा बीच बाजार । अपनी खुशियां रख उधार, खड़े हैं पापा बीच बाजार । ले कंधे पर पूरा परिवार , खड़े हैं पापा... Hindi · कविता 1 557 Share Dhirendra Panchal 30 Jan 2020 · 1 min read सृंगार रस उसकी यादों के तिनके से दरिया पार हो जाऊं , वो मंद मंद मुस्काये जब मैं कश्ती संग बह जाऊं । लाल कपोलों पे उसके वो तिल है काली काली... Hindi · कविता 1 399 Share Dhirendra Panchal 30 Jan 2020 · 1 min read तू बाज की उड़ान है रुके नहीं कदम तेरे , विपत्तियों का राज है । तू खून से तिलक लगा , ये शत्रु की आवाज है । तू तिलमिलाए दुश्मनों की , कोशिशें नाकाम कर... Hindi · कविता 1 1 463 Share Dhirendra Panchal 28 Jan 2020 · 1 min read पप्पू मेरा पास हुआ कांग्रेस मुख्यालय गूंजा , श्री राम के नारों से । अब बोलेंगी देखो मैडम,सुबह सुबह अख़बारों से । बड़े दिनों से जुगनू हमने देखे ना अँधियारों में । मोदी हमको... Hindi · कविता 2 400 Share Dhirendra Panchal 28 Jan 2020 · 1 min read सर्जिकल स्ट्राइक रौद्र रूप देख थर्रायी है,धरती पाकिस्तान की । कफ़न बाँध कर रण में उतरी,मिट्टी हिन्दुस्तान की । छेड़ रहे थे सिंहों को,थी चर्चा स्वाभिमान की । बालाकोट में गरज रही... Hindi · कविता 1 241 Share Dhirendra Panchal 28 Jan 2020 · 1 min read राफ़ेल की परिचर्चा राफ़ेल की परिचर्चा में वो चर्चा हमने भुला दिया । डाँट ग़रीबी को हमने भी भूखे तन ही सुला दिया । पेट के भीतर जलती रहती अंगारें अभिमान में ।... Hindi · कविता 1 203 Share Dhirendra Panchal 28 Jan 2020 · 1 min read शहीदों का परिहास गांधी नेहरु वाली तड़पन दिखने लगी किताबों में । राजगुरु आज़ाद की बातें होती केवल ख़्वाबों में । भगत सिंह औ शेखर का परिहास बनाया जाता है । संसद में... Hindi · कविता 1 506 Share Dhirendra Panchal 15 Jan 2020 · 1 min read राणा का शौर्य अकबर हुआ दुलारों में । हैं राणा खड़े क़तारों में । हम पढ़ते हैं बाज़ारों में । कुछ बिके हुए अख़बारों में । ये जाहिल हमें सिखाते हैं । शक्ति... Hindi · कविता 1 331 Share