पी के तिवारी Tag: ग़ज़ल/गीतिका 2 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid पी के तिवारी 22 Oct 2019 · 1 min read मैं गुलाब था मैं गुलाब था खुशबु भरा, मुझे आँधियों ने हिला दिया, जो मुझे बचाने को बने थे , मेरे उन काँटों ने मुझे ही रुला दिया। तोडा मुझे, फिर तोड़ के... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 263 Share पी के तिवारी 22 Oct 2019 · 1 min read रात में खामोश चाँद रात में ख़ामोश चाँद हो तुम... उस चाँद की पहली चांदनी हो तुम, फूलों की कली, फ़रों से बनीं, इत्र की खुशबू हो तुम, खो गया मैं तेरे प्यार में,... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 252 Share