अमित कुमार दवे Tag: कविता 11 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid अमित कुमार दवे 11 Feb 2024 · 1 min read ऐसा वर दो हे वीणावादिनी ©डॉ. अमित कुमार दवे, खड़गदा ऐसा वर दो हे वीणावादिनी ©डॉ. अमित कुमार दवे, खड़गदा ऐसा वर दो हे वीणापाणि जिससे सहज ही ऊजला - सुलझा फिर जग हो जाए। दीप उजियारों के स्वतः दीप्त... Hindi · कविता · वीणावादिनी · हंसासिनी 84 Share अमित कुमार दवे 26 Dec 2021 · 1 min read ©शब्द - स्वप्न - संवेदन को जीवन राष्ट्र का करना होगा जननायक को अब अटल-सा फिर से बनना होगा ।। डॉ.अमित कुमार दवे, खड़गदा, राजस्थान विषय : अटल बिहारी वाजपेयी विशेष ©शब्द - स्वप्न - संवेदन को जीवन राष्ट्र का करना होगा जननायक को अब अटल-सा फिर से बनना होगा ।। डॉ.अमित कुमार दवे, खड़गदा,... Hindi · कविता 247 Share अमित कुमार दवे 29 Oct 2021 · 1 min read विकास की अंध अभिलाषा में पीढ़ी काल की ग्रास बनी अमित कुमार दवे ©"विकास की अंध अभिलाषा में पीढ़ी काल की ग्रास बनी" कहीं हम अपने ही आदर्शों का मखौल तो नहीं उडा रहे! हाथों अपनी संस्कृति को तार-तार तो नहीं कर रहे... Hindi · कविता 239 Share अमित कुमार दवे 28 Oct 2021 · 1 min read ©"पारितोषिक के नाम पर खेल भावनाओं के होने लगे हैं" -अमित कुमार दवे, खड़गदा ©"पारितोषिक के नाम पर खेल भावनाओं के होने लगे हैं" -अमित कुमार दवे, खड़गदा उपहार - सम्मान समय के प्रवाह में बहने लगे हैं। उपलब्धि के बजाय कारण पहचान का... Hindi · कविता 1 4 293 Share अमित कुमार दवे 2 Aug 2021 · 1 min read ©"पुण्यों का परिणाम है जीवन बस यूँ ही नहीं गवाना है" डॉ. अमित कुमार दवे, खड़गदा ©"पुण्यों का परिणाम है जीवन बस यूँ ही नहीं गवाना है" -अमित कुमार दवे, खड़गदा आज मन में ठाना है, सहज जीवन में रहना है। खुद में खुद का ही... Hindi · कविता 1 1 285 Share अमित कुमार दवे 24 May 2021 · 1 min read अब हमको...रूकना ही होगा.....©डॉ.अमित कुमार दवे, खड़गदा अब हमको...रूकना ही होगा... ©डॉ.अमित कुमार दवे, खड़गदा हमें अपनों के लिए रूकना होगा..! हमें अपने लिए रूकना होगा..! हमें सपनों को सच करने के लिए रूकना होगा..! भारत को... Hindi · कविता 1 414 Share अमित कुमार दवे 13 May 2021 · 1 min read ©"बना लो.. अपनों का कवच.. अमित कुमार दवे, खड़गदा ©"बना लो.. अपनों का कवच.." -©अमित कुमार दवे, खड़गदा अपनों का.. संग व सानिध्य इस काल में… सुरक्षा कवच है.., तो वहीं … निरन्तरता लिए हुए.. दूर से ही सही... Hindi · कविता 1 309 Share अमित कुमार दवे 9 Mar 2021 · 1 min read ©प्रकृति-पुरुष से चलती सृष्टि डॉ.अमित कुमार दवे, खड़गदा ©प्रकृति-पुरुष से चलती सृष्टि डॉ.अमित कुमार दवे, खड़गदा प्रकृति-पुरुष से चलती सृष्टि निर्बाध गति को न बाँधों तुम ! भटकाव जीवन का ध्येय नहीं हो बिखराव जीवन में लेश नहीं... Hindi · कविता 441 Share अमित कुमार दवे 6 Dec 2020 · 2 min read ©आओ ! देश संग जग को सामाजिक बनाएँ जिसमें संवेदनशीलता की साँसे चलवाएँ ©डॉ.अमित कुमार दवे ©आओ ! देश संग जग को सामाजिक बनाएँ जिसमें संवेदनशीलता की साँसे चलवाएँ ©डॉ.अमित कुमार दवे आओ समाज से समाजिक बन जाएँ.. सम्यक् आज पर बेहतर कल बनाएँ.. सम्यक् समझ... Hindi · कविता 1 304 Share अमित कुमार दवे 28 Nov 2020 · 1 min read "नित ढलता सूरज कहता जाए" ©अमित कुमार दवे,खड़गदा नित ढलता सूरज कहता जाए कर्म सतत् कर लो जग वालों लाख जतन फिर करने पर भी गति काल की नहीं रुकने वाली नित ढलता सूरज कहता जाए।। सबक बहुत... Hindi · कविता 2 258 Share अमित कुमार दवे 28 Nov 2020 · 1 min read ©"कल से कल सँवार न हो तू भीड़ में शुमार.." ©"कल से कल सँवार न हो तू भीड़ में शुमार.." कल को संवारने में तू आज बर्बाद न कर। हथेली की रेखाओं का सृजन अब..स्वयं ही कर। न जाने किस... Hindi · कविता 2 410 Share