MridulC Srivastava Language: Hindi 41 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid MridulC Srivastava 22 Apr 2018 · 1 min read "हम भारत के लोग" कह रहे "हम भारत के लोग",कह रहे हम भारत के लोग, टूटती हम से "हम" की डोर,टूटती हमसे "हम" की डोर, बट रहा सारा हिन्दुस्ता,बट रहा है हिन्दुस्ता, जाति और... Hindi · गीत 643 Share MridulC Srivastava 4 Feb 2018 · 1 min read मज़लूम मजलूमों की दुआ न सही , जो "आह" ही सुन लेता मेरे मौला, तो आज इस जहन्नम की आग ना होती, किसी को भी फिर किसी जन्नत की चाह न... Hindi · शेर 565 Share MridulC Srivastava 3 Sep 2017 · 1 min read बेटियां क्या कहूँ तुझे मैं बेटियाँ, मन पर बोझ माथे पर कलंक, दरिंदगी का लहराता परचम, सदियों से गूंजती यहाँ बस तेरी सिसकियाँ । न्यूज लिखे संग लेख भी,डिवेट, काव्य, निष्कर्ष... Hindi · कविता 1 1 351 Share MridulC Srivastava 13 Jun 2017 · 1 min read काव्य चर्चा मेरी पंक्तियाँ ?? ● तारीफ नहीं करता,इसे तारीफ न मसझ लेना, यह तो बस जरिया है मेल जोल बढ़ाने का ।। श्री,मित्र के उत्तर ?? ● यह जमाने की बेहया,तारीफ... Hindi · कविता 414 Share MridulC Srivastava 8 Jun 2017 · 1 min read विश्वास दूर के ढोल सुहाने होते हैं, विश्वास के बड़े मायने होते हैं, पुष्प कागज के देखने में होते हैं बड़े प्यारे, आदर्श रचने हों तो हम रच दे इस जमीं... Hindi · कविता 292 Share MridulC Srivastava 8 Jun 2017 · 1 min read झूठे आदर्श झूठे आदर्शों की 3D तस्वीर, गढ़ सकते हैं सनम हम भी बहुत से ताबीर, हजारों रूपों में यथार्थ ढक दूं, भ्रम की चादर ओढू,और तुम्हें भ्रम में रहने दूँ, होते... Hindi · कविता 308 Share MridulC Srivastava 8 Jun 2017 · 1 min read आदर्शो की कीमत अच्छे लोगों की सांसें कम ही होती हैं उम्मीद उन्हीं की टूटती है जिन्हें कुछ उम्मीद होती है गफलत में जीना गफलत में रखना उनके आदर्शों की बात ही क्या... Hindi · कविता 593 Share MridulC Srivastava 8 Jun 2017 · 1 min read किसी ने बुरा जाना किसी ने भला जाना किसी ने बुरा जाना किसी ने भला जाना, मैं जो खुद को जान न सका जाने औरो ने क्या पहचाना ।। जिस दिन सो जाऊंगा,भारत माता तेरी आंचल में सर... Hindi · शेर 492 Share MridulC Srivastava 8 Jun 2017 · 1 min read तेरा साथ छूटा तेरा साथ छूटा,सम्हलने में वक्त लगा, अब फिर उसी मौसम,उसी प्रेम की तमन्ना मुझे, एक दिन,एक पल,एक घड़ी,तुम जो भी मंजूर करो, बस चन्द लम्हे उन जुल्फों तले बिताना मंजूर... Hindi · कविता 290 Share MridulC Srivastava 8 Jun 2017 · 1 min read खामोश शहर खामोश शहर में गूँजती एक आवाज कम नहीं, अंधेरे में जले,वह एक चिराग कम नहीं, स्वार्थ में बदलती #विश्वास को खोती हक की आवाज, गीत गाता एक फकीर भी कम... Hindi · कविता 356 Share MridulC Srivastava 8 Jun 2017 · 1 min read व्यक्ति नही राष्ट्र महान किसी से नही द्वेष मेरो,नही किसी से प्रीत, मातृ भूमि की जय करो,मिल कर करो सब जीत ।। Hindi · कविता 234 Share MridulC Srivastava 8 Jun 2017 · 1 min read जन कवि हूँ जनता मुझसे पूछ रही मैं क्या बतलाऊ, जनकवि हुँ साफ कहूंगा मैं क्यों हकलाऊ । वंचना,भूख,गरीबी आज भी, सत्तर वर्षो की नाकामी को क्यों झुठलाऊ, जनकवि हूँ साफ कहूंगा मैं... Hindi · कविता 614 Share MridulC Srivastava 8 Jun 2017 · 1 min read हक हक के दमन का तो इतिहास रहा है, कोई जयचन्द तो कोई भक्त रहा है, याद है मुझे वह पोरश का भी पौरुष, सूली पर चढ़ कर भी जो शत्रु... Hindi · कविता 329 Share MridulC Srivastava 8 Jun 2017 · 1 min read जनकवि हूँ जनता मुझसे पूछ रही मैं क्या बतलाऊ, जनकवि हुँ साफ कहूंगा मैं क्यों हकलाऊ । __/\__ बाबा नागार्जुन __/\__ वंचना,भूख,गरीबी आज भी, सत्तर वर्षो की नाकामी को क्यों झुठलाऊ, जनकवि... Hindi · कविता 819 Share MridulC Srivastava 1 Jun 2017 · 1 min read थक गया हूँ थक गया हूँ पर हारा नहीं हूँ मैं, विपदा में मिट जाऊ राह छोड़ हट जाऊँ, वह सहारा नहीं हूँ मैं, थक गया हूँ पर हारा नहीं हूँ मैं ।... Hindi · कविता 491 Share MridulC Srivastava 1 Jun 2017 · 1 min read थक गया हूँ पर हारा नहीं हूँ मैं थक गया हूँ पर हारा नहीं हूँ मैं, विपदा में मिट जाऊं,राह छोड़ हट जाऊं, वह सहारा नहीं हूँ मैं, थक गया हूँ पर हारा नहीं हूँ मैं, मंजिल से... Hindi · कविता 1k Share MridulC Srivastava 30 May 2017 · 2 min read असाधरण सूझ बूझ और मेजर गोगोई भारतीय सेना की पहचान विश्व के कुछ गिने चुने शक्तिशाली देशों की सेना के रुप में की जाती है, सेना की बहादुरी और उसके निर्णय लेने की अद्भुत क्षमता के... Hindi · लेख 473 Share MridulC Srivastava 13 May 2017 · 4 min read प्रकृति,हम और वन्य जीव प्रकृति की मनोरम कला अद्भुत,अद्वितीय,अकल्पनीय है, सुबह के लाल सूर्य का अंधकार ध्वस्त करने वाला तेज, उमंग और उत्साह के साथ हर एक प्राणी द्वारा दिनचर्या का प्रारम्भ,हरे भरे पेड़... Hindi · लेख 602 Share MridulC Srivastava 1 May 2017 · 1 min read सत्यमेव जयते 2 और जवान शहीद शव के साथ पाक ने की बर्बरता.. मस्तक पर विराजमान तुम्हारे वो भारत के चार सिंह, अशोक शांति नीति के ही नहीं, शत्रु को चेतावनी के... Hindi · कविता 535 Share MridulC Srivastava 24 Feb 2017 · 1 min read माँ भारती,तोड़ती पथ्थर मातृभूमि से बढ़ कर नहीं कोई उपलब्धि तेरी, सत्य विजय से पहले व्यर्थ ही हर रणनीति होती, धिक्कारती माँ भारती,तोड़ती पथ्थर देखती तुझे छिन्नतार, कलम में तेरे वो पुरुषार्थ नही... Hindi · कविता 457 Share MridulC Srivastava 10 Jan 2017 · 1 min read बड़े काम की बेटियां ख़ामोशी तेरी,पहल भी तेरा, नाकामी तेरी,शहर भी तेरा, गूंजती यहां,बस मेरी सिसकियाँ l बेखबर वो निर्लज चले,सब भूल-भाल आगे बढ़े हर चेहरे हर रूप में,दिखता वही बहरूपिया I न्यूज लिखे... "बेटियाँ" - काव्य प्रतियोगिता · कविता · बेटियाँ- प्रतियोगिता 2017 638 Share MridulC Srivastava 9 Jan 2017 · 1 min read बड़े काम की बेटियां ख़ामोशी तेरी,पहल भी तेरा, नाकामी तेरी,शहर भी तेरा, गूंजती यहां,बस मेरी सिसकियाँ l बेखबर वो निर्लज चले,सब भूल-भाल आगे बढ़े हर चेहरे हर रूप में,दिखता वही बहरूपिया I न्यूज लिखे... Hindi · कविता 508 Share MridulC Srivastava 18 Dec 2016 · 1 min read निर्भया तारीफ़ क्या करूँ, क्या कहूँ मैं निर्भया, मन पर बोझ,माथे पर कलंक, दरिंदगी का लहराता ये परचम, क्या लिखूं,किसकी करू मैं निंदा वो डूबे राज मद में,कर रहे अब शाही... Hindi · कविता 222 Share MridulC Srivastava 17 Dec 2016 · 1 min read निर्भया तारीफ़ क्या करूँ, क्या कहूँ मैं तुम्हे निर्भया, मन पर बोझ,माथे पर कलंक, दरिंदगी का लहराता ये परचम, क्या लिखूं,किसकी करू मैं निंदा वो डूबे राज मद में,कर रहे अब... Hindi · कविता 446 Share MridulC Srivastava 15 Dec 2016 · 1 min read हास्य व्यंग्य राहुल बाबा? मुझे बोलने नहीं दिया जा रहा है,मैं बोलूंगा तो भूकम्प आ जाएगा .... हाईटेक प्रधान, अरे उन्हें किसने रोका बोलें नही बोलेंगे तो हमे पता कैसे चलेगा बच्चा... Hindi · कविता 267 Share MridulC Srivastava 15 Dec 2016 · 1 min read नारी आन मान और मर्यादा,सिर्फ तुमपर ही लादा जाता, मछली को तैरना कौन सिखाता,कौन पंक्षी को उड़ना, कुंठित,व्यथित मन की ये बाते,पुरुष समाज के काल कलंक दर्शाते, खुद का जरा इतिहास... Hindi · कविता 257 Share MridulC Srivastava 1 Dec 2016 · 1 min read सच अंधे को बंदूख दें कर,सीमा पर शत्रु से मुकाबले के लिए भेजना नियत की दृष्टि से बिल्कुल दोषी नही, नियत सही है और उद्देश्य भी देश कल्याण का है, किन्तु... Hindi · कविता 572 Share MridulC Srivastava 26 Nov 2016 · 1 min read नोटबन्दी बिना किसी बैकप के,इक्के के पीछे घोड़े को बान्ध कर दौड़ाने वाले मोदी जी भारत के पहले प्रधान सेवक हैं l 500 और 1000 के नोटों की कुल हिस्सेदारी भारत... Hindi · कहानी 436 Share MridulC Srivastava 26 Nov 2016 · 1 min read भक्ति अधिकार,संघर्ष,तो इतिहास रहा है, किसी ने समर्थम किया है,तो कोई भक्त रहा है, पर याद है मुझे, वो पोरष का भी पुरुषार्थ, सूली पर चढ़ कर भी जिसने शत्रु को... Hindi · कविता 293 Share MridulC Srivastava 26 Nov 2016 · 1 min read जुल्म_ए_भक्ति अधिकार,संघर्ष,तो इतिहास रहा है, किसी ने समर्थम किया है,तो कोई भक्त रहा है, पर याद है मुझे, वो पोरष का भी पुरुषार्थ, सूली पर चढ़ कर भी जिसने शत्रु को... Hindi · कविता 1 1 253 Share MridulC Srivastava 25 Nov 2016 · 1 min read संघर्ष एक इतिहास जुल्म_ए_खाकी या जुल्म_ए_खादी अधिकार के संघर्ष का तो इतिहास रहा है, किसी ने समर्पण किया है,तो कोई भक्त रहा है मुझे याद है पुरुषर्थ पोरस का भी, जिसने सूली पर... Hindi · तेवरी 332 Share MridulC Srivastava 25 Nov 2016 · 1 min read सम्मान/तिरस्कार और समाज तारीफ की जो बात की और जमाने से तुलना, तो सुनो हे मित्र, क्या तुम भूल गए,गांधी को गोली मार, गोडसे की पूजा करना ।। The creator Mridul Chandra Hindi · कविता 649 Share MridulC Srivastava 30 Oct 2016 · 1 min read सिद्धान्तों की कीमत पर जीना मंजूर नही मुझे समझौतों में स्वार्थ और लाचारी की बू आती है, आत्म-सम्मान स्वाभिमान मृत सैया पर ही नजर आती है, बेआबरू हो कर जीना,खुद को खुद से ही छलना, फिर जिंदगी की... Hindi · शेर 500 Share MridulC Srivastava 30 Oct 2016 · 1 min read दशरथ मांझी को मेरा सलाम क्या कमाल की दुनिया है यारो... दशरथ मांझी जब अकेले ही पत्थर काट रहे थे तब कोई सरकारी गुलाम नही गया ..पूछने ? कोई तो पूछता "ऐसा क्यों कर रहे... Hindi · कविता 308 Share MridulC Srivastava 16 Oct 2016 · 1 min read कर सको तो तेरा साथ छूटा,सम्हलने में वक्त लगा, अब फिर उसी मौसम,उसी प्रेम की तमन्ना मुझे, एक पल एक दिन एक घड़ी,तुम जो भी मंजूर करो, बस चन्द लम्हे उन जुल्फों तले... Hindi · गीत 315 Share MridulC Srivastava 3 Oct 2016 · 1 min read देश प्रेम करने दो हुंकार अब,बस मातृभूमि का सत्कार अब बजने दो मृदंग,कर दो संखनाद अब, भरो कुछ ऐसा ही दम्भ,कण कण में दिखे देश प्रेम का रंग, चूल्हे हिले,भूचाल मानो,सर्वनाश की... Hindi · तेवरी 766 Share MridulC Srivastava 3 Oct 2016 · 2 min read चीन को उत्तर सत्य है कि पाक की छटपटाहट से चीन बौखला जाता है,जो भी वजह हो किन्तु भारत के सिंधु जल मुद्दे पर निर्णय के पश्चात चीन द्वारा ब्रह्मपुत्र पर उठाये कदन... Hindi · लेख 586 Share MridulC Srivastava 24 Sep 2016 · 2 min read जुमलो का ये दौर पाठको की खामोशी के कारण लौट गया था, किन्तु में ज्यादे खामोश नहीं रह पाता l प्रस्तुत है हास्य मनोरम व्यंग नमो नमो जुमलो का दौर चल पड़ा,हो रही जुमलो... Hindi · कविता 332 Share MridulC Srivastava 1 Sep 2016 · 3 min read पगली कथा- मेरी भूमिका यदि आप ने पूर्व में मेरे द्वारा लिखित पगली की कहानी पढ़ी है तो आप बात पूरी तरह समझ जाएंगे,अन्यथा निवेदन करूँगा की उसे पढ़े फिर मेरी उस पर दी... Hindi · लेख 1k Share MridulC Srivastava 30 Aug 2016 · 1 min read व्यंग जीन्स क्यों बिलकुल बुरी बात.. ऐसे हंसते हैं क्या ये कोई तरीका है,? सीधा चलो इतना मटकने की जरूरत क्या ? एक पब्लिक पब से फोन आता है , 7... Hindi · कविता 299 Share MridulC Srivastava 27 Aug 2016 · 3 min read मोहन जोदाड़ो फिल्म से कही आगे.. मोहंजोदाडो.... इस विषय मे हमारा जितना भी ग्यान है,उसे आधार बना मे ये अवश्य कहना चाहूँगा कि ये सभ्यता भारत की एक प्राचीन वैभव पूर्ण, गरिमामय जीवन जीने वाले लोगो... Hindi · लेख 2 631 Share