Shekhar Chandra Mitra Language: Hindi 3940 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 47 Next Shekhar Chandra Mitra 18 Jan 2022 · 1 min read जातीय भेद-भाव यह देश एक ऐसा बगीचा है! जिसे हमने लहू से सींचा है!! और हमसे ही कहते कुछ लोग चल भाग यहां से तू नीचा है!! Shekhar Chandra Mitra #रोहितवेमुला #RohitVemula... Hindi · कविता 257 Share Shekhar Chandra Mitra 18 Jan 2022 · 1 min read मानवता का क़र्ज़ रिवाजों को तोड़ना हक़ है! कानूनों को मानना फ़र्ज़ है! हम कोशिश क्यों करें खुदकुशी की! हम पर मानवता का क़र्ज़ है!! Shekhar Chandra Mitra #राजनीतिककविता #DalitLivesMatter #रोहितवेमुला #बहुजन_नायक #RohitVemula Hindi · कविता 149 Share Shekhar Chandra Mitra 18 Jan 2022 · 1 min read जातीय आरक्षण जातीय अपमान ख़त्म करने की मांग क्यों नहीं करते! जातीय शोषण ख़त्म करने की मांग क्यों नहीं करते!! जातीय आरक्षण ख़त्म करने की मांग करने वाले लोग जातीय उत्पीड़न ख़त्म... Hindi · कविता 134 Share Shekhar Chandra Mitra 18 Jan 2022 · 1 min read खुदकुशी से क्या होगा? अगर जी चुके अपने लिए तो अब जियो देश-समाज के लिए! आख़िर खुदकुशी से क्या होगा तुम जियो इंकलाब के लिए!! जिसकी चाहत में जीते रहे मर-मरके भी हमारे पुरखे!... Hindi · कविता 193 Share Shekhar Chandra Mitra 18 Jan 2022 · 1 min read प्रतिनिधित्व का प्रश्न उठाएं जब कमंडल वे तुम मंडल उठाना, साथी! छिने हुए जल, ज़मीन और जंगल उठाना, साथी!! शिक्षा, संपत्ति और सत्ता में उनका ही वर्चस्व क्यों रहे! जो तोड़े नींद बहुजन... Hindi · कविता 387 Share Shekhar Chandra Mitra 18 Jan 2022 · 1 min read भगतसिंह ने कहा था ज़िंदगी पर मेरी किताब लिख देना! मेरे लहू से इंकलाब लिख देना!! तख्त और ताज ने ढाया जो अवाम पर उस हर एक जुल्म का हिसाब लिख देना!! Shekhar Chandra... Hindi · कविता 167 Share Shekhar Chandra Mitra 18 Jan 2022 · 1 min read विपक्ष की भूमिका में साहित्य आज से एक लेखक और पत्रकार के तौर पर हम अपने लिए भूमिका विपक्ष की स्वीकार करते हैं! हर मोर्चे पर दे सकें उन्हें एक कड़ी टक्कर इसके लिए अपने... Hindi · कविता 1 138 Share Shekhar Chandra Mitra 18 Jan 2022 · 1 min read लाल कलम सारी जुल्मतों की काल कलम तोड़ेगी हर एक जाल कलम! जालिब और फैज़ से विरसे में मिली है मुझे यह लाल कलम!! घबराने लगता है मज़हब और थरथराने लगती है... Hindi · कविता 1 137 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read मंंडल बनाम कमंडल सत्ता के लिए देश को दांव पर लगा दिया! लोकतांत्रिक मूल्यों को सूली पर चढ़ा दिया!! सरकार को घेरने और जनता को जगाने का! जो भी मौका मिला उसे विपक्ष... Hindi · कविता 204 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read ख़्याल खुदकुशी का जिसके पास वाजिब एक रोज़गार नहीं होता! ज़रूरत के मुताबिक कोई अधिकार नहीं होता!! आता है उसी को ख़्याल खुदकुशी का जिसकी ज़िंदगी में किसी का प्यार नहीं होता!! Shekhar... Hindi · कविता 425 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read इश्क़ के सामाजिक सरोकार ज़िंदगी के कशमकश से अलहदा करे जो इश्क़! दुनिया के जद्दोजेहद से अलहदा करे जो इश्क़! वह इश्क़ ज़ेहनी तौर पर खुदकुशी है दरअसल! मौजूदा वक़्त की बहस से अलहदा... Hindi · कविता 220 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read विद्यार्थियों का आंदोलन पत्रकार भी चुप हैं! कलाकार भी चुप हैं!! विद्यार्थी ही देश के अब एकमात्र विपक्ष हैं!! #DalitLivesMatter #आदिवासी #बहुजन #रोहित_वेमुला_अमर_रहे #मननुवाद #कवि Hindi · कविता 279 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read जीने की बात करो जिन्हें सोचकर हौसला पाते हम अगर वही बेबसी की बात करने लगें! जिन्हें सुनकर उम्मीद पाते हम अगर वही मायूसी की बात करने लगें! तो ऐ दिल क्या हम जीते... Hindi · कविता 297 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read खुदकुशी से पहले इस दुनिया की ओर एक बार देख लेना! इंसानियत की पुकार एक बार सुन लेना! कितने मजलूमों को तुम्हारी ज़रूरत है खुदकुशी से पहले एक बार सोच लेना! Shekhar Chandra... Hindi · कविता 337 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read नौजवानों से बुद्धों और कबीरों के कई क़र्ज़ चुकाने हैं अभी तुम्हें! औरतों और दलितों के कई दर्द मिटाने हैं अभी तुम्हें! खुदकुशी के बारे में सोच भी कैसे सकते हो तुम?... Hindi · कविता 250 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read लिखने का हक़ लिखने का हक़ सिर्फ़ उन्हें होना चाहिए जो कि अपनी कलम से बंदूक का काम लेना जानते हों! Hindi · कोटेशन 232 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read अंबेडकर की तरह तुम पर कोई ज़ुल्म हो रहा है तो उसका खुलकर एहतिजाज़ करो! उठ खड़े होंगे अनगिनत लोग एक बार बुलंद आवाज़ करो!! इतनी-सी गुज़ारिश है मेरी अपने देश के नौजवानों... Hindi · कविता 221 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read चुनौतियों का सामना अपने दौर की सबसे बड़ी चुनौतियों का सामना करने वाला व्यक्ति ही अंतरराष्ट्रीय मंचों पर अपने देश का प्रतिनिधित्व कर सकता है! Hindi · कोटेशन 181 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read प्रोटेस्ट करो जब मीडिया की विश्वसनीयता शक के दायरे में आ गई हो! जब सरकार की विश्वसनीयता शक के दायरे में आ गई हो!! तब प्रोटेस्ट करना हक़ ही नहीं, अवाम की... Hindi · कविता 333 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read रोहित वेमुला को चिट्ठी प्रिय रोहित! अगर शोषण,उत्पीड़न,उपेक्षा और अपमान को ही आधार मान लिया जाए तो दलित, पिछड़े, आदिवासी और स्त्री वर्ग के अधिकांश सदस्यों को तुम्हारी तरह ही आत्महत्या कर लेनी चाहिए।... Hindi · कोटेशन 270 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read बेहतर समाज के लिए बेहतर भोजन हो या बेहतर समाज वह बना-बनाया किसे मिलता है? उसे बनाने के लिए तो कुछ लोगों को अपनी अंगुलियां जलानी पड़ती हैं! #JusticeForRohithVemula Shekhar Chandra Mitra Hindi · कविता 159 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read सुकरात ज़हर का प्याला लबों से लगाए बिना! अपने आप को सूली पर चढाए बिना!! कोई बनता नहीं क़ौम का मसीहा! अपने वक़्त के सवालों से टकराए बिना!! Shekhar Chandra Mitra... Hindi · कविता 1 1 434 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read जब राजा ही नंगा! ये जातियों का लफड़ा वो मजहबों का दंगा! आख़िर मैं कैसे कह दूं सब कुछ यहां चंगा!! सारे फनकार रह गए दरबारी गायक बनकर! भला कपड़े कौन पहने जब राजा... Hindi · कविता 1 381 Share Shekhar Chandra Mitra 17 Jan 2022 · 1 min read हल्ला बोल आंख पर बंधी हुई पट्टी और मुंह पर पड़े हुए ताले खोल! बोल इंडिया हल्ला बोल!! Hindi · मुक्तक 181 Share Shekhar Chandra Mitra 16 Jan 2022 · 1 min read इंकलाब क्यों नहीं करते? ऐ खुदकुशी करने वालों! तुम इंकलाब क्यों नहीं करते? जिससे दिक्कत है उसका तुम एहतिजाज़ क्यों नहीं करते? आख़िर कोई कमी है क्या दुनिया में बेहतर विकल्पों की? यहीं से... Hindi · कविता 1 248 Share Shekhar Chandra Mitra 16 Jan 2022 · 1 min read अंबेडकर को याद करो ज़रा अंबेडकर को याद करो खुदकुशी नहीं, इंकलाब करो... (१) तुम तख्त और ताज फंदों से अपने देश को आज़ाद करो... (२) जेहनी तौर पर बीमार हैं जो ठीक से... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 185 Share Shekhar Chandra Mitra 16 Jan 2022 · 1 min read खुदकुशी का ख़्याल अगर कभी-कभी आपके जेहन में खुदकुशी का ख़्याल आता है तो यक़ीन मानिए कि आप वह शख़्स हैं जिसकी दुनिया को बहुत ज़रूरत है। मायूसी के चाहे जितने भी भारी... Hindi · कोटेशन 1 381 Share Shekhar Chandra Mitra 16 Jan 2022 · 1 min read घुटन एक धीमी खुदकुशी कर रहे हैं लोग यहां! हर वक़्त घुट-घुटकर मर रहे हैं लोग यहां!! दूसरों के बनाए हुए मूर्दा उसूलों के लिए! अपनी-अपनी क़ब्र में सड़ रहे हैं... Hindi · कविता 208 Share Shekhar Chandra Mitra 16 Jan 2022 · 1 min read रोहित वेमुला की शहादत तुम ही थे कभी 'विश्व गुरु'! तुम ही थे कभी 'सोने की चिड़िया'!! हम नहीं मानेंगे हरगिज़ मान ले यह चाहे सारी दुनिया!! शूद्रों से तुमने क्या कराया? औरतों को... Hindi · कविता 206 Share Shekhar Chandra Mitra 16 Jan 2022 · 1 min read बहुजन नायक #चंद्रशेखर_आज़ाद देश और समाज के जलते हुए सवालों पर पूरी बेबाकी से अपनी बात रखते हैं। वह दलितों, पिछड़ों, आदिवासियों और अल्पसंख्यकों के साथ होने वाली किसी भी नाइंसाफी के... Hindi · कोटेशन 274 Share Shekhar Chandra Mitra 16 Jan 2022 · 1 min read बॉलीवुड की ख़ामोशी तुम कमा लो चाहे जितना एक तमाशाई ही कहलाओगे! किसी और के इशारे पर अपना दुर्लभ जीवन गंवाओगे!! इज्ज़त-दौलत-शोहरत सब कुछ तो तुम्हारा दिखावा है! तुम खाली हाथ ही आए... Hindi · कविता 394 Share Shekhar Chandra Mitra 16 Jan 2022 · 1 min read वेलकम टू 'न्यू पाकिस्तान' ऐसी ज़हालत वह भी खुलेआम! वेलकम टू 'न्यू पाकिस्तान'!! ये कर क्या रहे आख़िर हुक्मरान! वेलकम टू 'न्यू पाकिस्तान'!! थोपी जा रही फिर 'मनुस्मृति' देश की आम जनता पर! ख़त्म... Hindi · कविता 145 Share Shekhar Chandra Mitra 16 Jan 2022 · 1 min read गुलामी का पट्टा अपने गले से निकाल दे यह गुलामी का पट्टा! पत्रकारिता की साख पर अब लग रहा है बट्टा!! कड़वे से कड़वा सच भी तू कहने की हिम्मत कर! कहीं सरकार... Hindi · कविता 204 Share Shekhar Chandra Mitra 15 Jan 2022 · 1 min read तानाशाहों का हश्र जो ख़ुद को देश से ऊपर माने वह तानाशाह है या सिरफिरा! दुनिया का इतिहास देख लो होता है उसका हश्र बुरा! Shekhar Chandra Mitra Hindi · कविता 443 Share Shekhar Chandra Mitra 15 Jan 2022 · 1 min read जी हजूरी चलेगा यहां अब वही दस्तूर! अवाम को जो होगा मंज़ूर!! हम भाड़े के टट्टू नहीं हैं कि हर बात में कहें-"जी हजूर"!! Shekhar Chandra Mitra Hindi · कविता 442 Share Shekhar Chandra Mitra 15 Jan 2022 · 1 min read मेहनतकश अवाम हमारी दुआएं मेहनतकश अवाम के साथ हैं! हमारी वफाएं मेहनतकश अवाम के साथ हैं!! हक़ और इंसाफ़ के लिए चलने वाले जद्दोजेहद में! हमारी सदाएं मेहनतकश अवाम के साथ हैं!!... Hindi · कविता 297 Share Shekhar Chandra Mitra 15 Jan 2022 · 1 min read सामाजिक न्याय हम लोग भगतसिंह के वारिस हैं कोई और नहीं! ज़ुल्मत के सामने झूक जाएं हमारा तौर नहीं!! अपने घर से चले थे हम रखकर जान हथेली पर! आख़िर कब तक... Hindi · कविता 425 Share Shekhar Chandra Mitra 15 Jan 2022 · 1 min read आत्महत्या नहीं, क्रांति करो! जद्दोजेहद से मुंह मोड़ लेता है। अपने दौर की उम्मीद तोड़ देता है। जीने का उसे कोई हक़ ही नहीं जो लड़े बिना मैदान छोड़ देता है। Shekhar Chandra Mitra Hindi · कविता 195 Share Shekhar Chandra Mitra 15 Jan 2022 · 1 min read रोहित वेमुला ठोकरें खा-खाकर संभल क्यों नहीं लेते? संगीन को बुटों तले मसल क्यों नहीं देते? जिस समाज में जीना नामुमकिन लगता है उस समाज को आख़िर बदल क्यों नहीं देते? Shekhar... Hindi · कविता 177 Share Shekhar Chandra Mitra 15 Jan 2022 · 1 min read धार्मिक उन्माद आख़िर कब तक हिंदू-मुसलमान करेंगे आप लोग! आख़िर कब तक भारत-पाकिस्तान करेंगे आप लोग!! ज़रा भारत की इज़्ज़त के बारे में भी तो सोचिए! आख़िर कब तक श्मसान-कब्रिस्तान करेंगे आप... Hindi · कविता 203 Share Shekhar Chandra Mitra 15 Jan 2022 · 1 min read जेएनयू पर हुए हमले के ख़िलाफ़ हमें वतनपरस्ती का सबक लाठियों से सिखाओगे क्या? भारत को एक धार्मिक देश गोलियों से बनाओगे क्या? मान लो कि घुसपैठियों को अपनाए ना कोई पड़ोसी देश तो हिटलर की... Hindi · कविता 150 Share Shekhar Chandra Mitra 15 Jan 2022 · 1 min read जम्हूरियत ज़िंदा है जब तक सवाल की हिम्मत ज़िंदा है! जब तक ख़्याल की ताक़त जिंदा है!! भारत में समझ लो जम्हूरियत ज़िंदा है! जब तक इंकार की जुर्रत ज़िंदा है!! Shekhar Chandra... Hindi · कविता 1 156 Share Shekhar Chandra Mitra 14 Jan 2022 · 1 min read चार दिन की ज़िंदगी में रब ख़ैर करे! रब ख़ैर करे! सब ख़ैर करे! सब ख़ैर करे!! चार दिन की ज़िंदगी में क्या कोई किसी से वैर करे!! Shekhar Chandra Mitra Hindi · कविता 467 Share Shekhar Chandra Mitra 14 Jan 2022 · 1 min read अपने ख़ून से लिखेंगे हम हुक़्मरानों को अच्छी तरह समझा दे कोई जाकर! अपने ख़ून से लिखेंगे हम इस मुल्क का मुकद्दर!! कभी अवाम पर हुक़ूमत का ज़्यादा ज़ोर मत दिखाएं! ख़ाक़ में मिल चुके... Hindi · कविता 159 Share Shekhar Chandra Mitra 14 Jan 2022 · 1 min read नाज़ी फ़रमान अब चाहे तुम कुछ भी कर लो अब चाहे तुम कुछ भी कह लो तुम्हारे नाज़ी फ़रमान को हमने जो ना कह दिया तो ना कह दिया! Shekhar Chandra Mitra Hindi · मुक्तक 256 Share Shekhar Chandra Mitra 14 Jan 2022 · 1 min read सड़क पर उतरना होगा हां, उसको भी हराया जा सकता है! हां, उसको भी झुकाया जा सकता है!! बशर्ते कि विपक्ष अब सड़क पर उतरे हां, उसको भी हटाया जा सकता है!! Shekhar Chandra... Hindi · कविता 153 Share Shekhar Chandra Mitra 14 Jan 2022 · 1 min read सच की जीत आख़िर क्यों किसी से डरे कोई! जीते जी सौ बार मरे कोई!! हारकर भी सच हारता नहीं एक बार तो डट कर लड़े कोई!! Shekhar Chandra Mitra Hindi · कविता 323 Share Shekhar Chandra Mitra 14 Jan 2022 · 1 min read पंजाब की दिलेरी देश के लिए खुलकर लड़ने में पंजाब हमेशा आगे रहा है! देश के लिए हंसकर मरने में पंजाब हमेशा आगे रहा है!! बाकी राज्य अब भी उससे बहुत कुछ सीख... Hindi · कविता 160 Share Shekhar Chandra Mitra 14 Jan 2022 · 1 min read भागो मत, सामना करो! मुहब्बत की नाकामी पर आंसू बहाने वाले शायर #शिव_बटालवी के मुकाबले उन हालात के ख़िलाफ़ जिनमें किसी की मुहब्बत नाकाम होती है, जद्दोजेहद करने वाला शायर #अवतार_सिंह_पाश मुझे ज़्यादा अज़ीज़... Hindi · कविता 214 Share Shekhar Chandra Mitra 13 Jan 2022 · 1 min read लड़की हूं, मैं लड़ सकती हूं... लड़की हूं, मैं लड़ सकती हूं! अपना मुकद्दर गढ़ सकती हूं!! किसी ने भी जो सोचा न होगा वह भी एक दिन कर सकती हूं! लड़की हूं, मैं लड़ सकती... Hindi · कविता 119 Share Previous Page 47 Next