Sahityapedia
Sign in
Home
Your Posts
QuoteWriter
Account
20 posts
आज मनाने जब बैठे
आज मनाने जब बैठे
Kamla Prakash
व्यथित हृदय अब कर रहा
व्यथित हृदय अब कर रहा
Kamla Prakash
सवाल कल भी था सवाल आज भी है और
सवाल कल भी था सवाल आज भी है और
Kamla Prakash
ले शिशु रुप, माता कौशल्या की गोद में
ले शिशु रुप, माता कौशल्या की गोद में
Kamla Prakash
आलेख लिख रही कई
आलेख लिख रही कई
Kamla Prakash
सरल को समझना सरल नहीं
सरल को समझना सरल नहीं
Kamla Prakash
अलबेली मतवाली पवन जब झूम
अलबेली मतवाली पवन जब झूम
Kamla Prakash
सपनों की उड़ान हो ऊँची
सपनों की उड़ान हो ऊँची
Kamla Prakash
सपनों की उड़ान हो ऊँची
सपनों की उड़ान हो ऊँची
Kamla Prakash
तूलिका मेरी तू लिख,  पीर उस एहसास की
तूलिका मेरी तू लिख, पीर उस एहसास की
Kamla Prakash
श्रुति नाद साज़ समाहित
श्रुति नाद साज़ समाहित
Kamla Prakash
मौन की 'अभिव्यक्ति' होती
मौन की 'अभिव्यक्ति' होती
Kamla Prakash
सपनों का कोई अंत नहीं
सपनों का कोई अंत नहीं
Kamla Prakash
है कई अनमोल रत्न, माता तेरी गोद में
है कई अनमोल रत्न, माता तेरी गोद में
Kamla Prakash
लिखी हैँ किताबें कई, ज़िन्दगी ने मेरी
लिखी हैँ किताबें कई, ज़िन्दगी ने मेरी
Kamla Prakash
काम, क्रोध, मोह साथ ना छोड़े
काम, क्रोध, मोह साथ ना छोड़े
Kamla Prakash
टुटे ख़्वाबों को पंख दे दो
टुटे ख़्वाबों को पंख दे दो
Kamla Prakash
खोल रखी किताब कई
खोल रखी किताब कई
Kamla Prakash
बातें रूबरू होंगी
बातें रूबरू होंगी
Kamla Prakash
बातें रूबरू होंगी
बातें रूबरू होंगी
Kamla Prakash
Loading...