Mahender Singh Language: Hindi 804 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Mahender Singh 26 Oct 2024 · 1 min read कायदे तुम आया करो, अपनी मर्जी से जाया करो, यहां लोग हैं, दुनिया उन्हीं की बसाई हुई , यहां भी बसी है, वहां भी बस्ती उन्हीं की तुम यहाँ नहीं रह... Hindi 26 Share Mahender Singh 26 Oct 2024 · 1 min read मुक्त पंथी तुम छोड़ देते मुझे, मेरे अपने हाल पर, मानता हूं आसान नहीं है, तुम्हारे लिये, तुम्हारे हाथ से निकल जाने का डर कहीं, मुक्त पंथी हो न सका,तुम प्रेम में... Hindi 30 Share Mahender Singh 25 Oct 2024 · 1 min read निर्णय आपका तुम्हें स्वयं तय करना है, तुम्हें अच्छी शिक्षा, चिकित्सा और अच्छी जीवनशैली चाहिए या धर्म पर आधारित धार्मिक कर्मकांड ✍️ ..... जिस धर्म की खोज, वैयक्तिक होती है,, अंतोगत्वा, जो... Hindi 18 Share Mahender Singh 24 Oct 2024 · 1 min read धर्म और कर्मकांड तुम्हें क्या लगता है, तुम्हारा तथाकथित धर्म आपको बचा लेगा, वह आपकी सुध, बुध से नहीं, आपको कर्मकांड से जोड़ता है .. Hindi 1 16 Share Mahender Singh 23 Oct 2024 · 1 min read भगवता प्रकृति के तांडव को अपनी गनीमत समझो प्रकृति के नृत्य को अपने लिए प्रसाद, तुम खुद को खोज लो, जिसे खोज रहे हो, वह मिले हुआ ही है .।। Hindi 32 Share Mahender Singh 21 Oct 2024 · 1 min read पटकथा कोई आता है कोई जाता है कोई अनजान है किसी को जानना है कोई ईधर की ऊधर अधर पर आई बात, कहने में संकोच करता है, कोई महत्वाकांक्षी व्यक्ति, मिटाने... Hindi 1 39 Share Mahender Singh 16 Oct 2024 · 1 min read विचलित लोग विचलित लोग, सुव्यवस्थित, निर्णायक, विषय के जानकर को, विचलित कर देते है .। ....... एक मरीज चिकित्सक पर, अपनी समस्या को लेकर जाता है, दोनों में संवाद होता है, मगर... Hindi 28 Share Mahender Singh 15 Oct 2024 · 1 min read हरगिज़ नहीं रोक ही लिये जाने चाहिए, नजर दूसरों पर रखने वाले, भ्रमित रहते हैं, भ्रम पैदा करते हैं, न हासिल मुकाम करने वाले, ....... पहुंच जाओगे तुम कैसे,,, इसका पूरा इंतजाम... Hindi 1 2 32 Share Mahender Singh 31 Aug 2024 · 1 min read कल आज और कल कल को जाना, आज को जीना, सुखद कल की चाह, कल आज और कल, .... कल जो बीत गया, पल पल जिसे जीया, क्या खोया, क्या पाया, भविष्य संजोया, .......... Hindi 50 Share Mahender Singh 29 Aug 2024 · 1 min read परख और पारखी लोग दुख भोग रहे हैं, अतीत को ढोह रहे हैं, सुख वर्तमान में है, खोजने की बजाय, मान कर, मान्यताओं में घूसे बैठे हैं .।। ....... स्वाध्याय जरूरी है !... Hindi 68 Share Mahender Singh 11 Aug 2024 · 1 min read आकलन आये थे जो कायनात पर कवायद लिखने, थोडा बेचा अधिक बिक गया देखा सबने. ...... चल छोड़ गाबरू,हांगे की ये सब बात, तू बता कौन डाल-२ , कौन पात पात,,... Hindi 67 Share Mahender Singh 4 Aug 2024 · 1 min read खत और समंवय अतीत के वे किस्से, जिनसे हट सके पर्दे, ख्वाब नहीं वो हकीकत थे, गुलामी जो दे, ....... भूखे को भोजन नहीं,प्यास लगे पानी न दे, मजदूरी बंधवा न करें तो... Hindi 94 Share Mahender Singh 16 Jul 2024 · 1 min read अपनो से भी कोई डरता है हुआ सो हुआ, अपनों से भी, कोई डरता है , अमन चैन सुख शांति के सब मुसाफिर फिर भी क्यों, अखरता है ! ...... क्या मंदिर, मस्जिद, गुरुद्वारा क्या, सब... Hindi 66 Share Mahender Singh 14 Jul 2024 · 1 min read पेड़ पौधे और खुशहाली फोटो के बहाने ही सही, एक पौधे की हरियाली, पत्तों के स्पर्श ने हवा ली, ये बात नहीं है ख्याली .। ...... ये रूख दरख़्त सुनो कहानी, फूट आती कोपलें... Hindi 67 Share Mahender Singh 13 Jul 2024 · 1 min read एकमात्र सहारा एक अकेला खड़ा किसके सहारे भरोसे किसी के आग उगलते सूरज की तपन तेज हवाओं के थपेड़े आंधी तूफान में झूले झूल लेता जमीं की गहराई में जमाये जड़ें फल,... Hindi 1 64 Share Mahender Singh 11 Apr 2024 · 1 min read किरदार हो या किरदार हो या किराएदार, संभावनाएं और भी बहुत, जवाबदेह हो या जिम्मेदार, कद्दावर नेता हो या गद्दार. घर घर पहुंचा दो ये खबर, बन जाओ हमारे हमसफर, मगर अकेले तय... Hindi 82 Share Mahender Singh 5 Mar 2024 · 1 min read तंद्रा तोड़ दो सिमट जाया करो, खुद ही खुदी में, बहती धार मिले या शुष्क धरातल . कच्छप हो तुम, तैर जाओ जल में, शुष्क धरातल हो, समाधि हो जाओ. इंद्रियों सिमट जाओ,... Hindi 80 Share Mahender Singh 5 Mar 2024 · 1 min read एक झलक मिलती एक झलक मिलती भले चांदनी नहीं , अंधेरी होती, देखने को आंखें होती आंखें नहीं होती तब भी सुनने में आती, . हर जगह चर्चा यही होती .. एक झलक... Hindi 1 92 Share Mahender Singh 5 Feb 2024 · 1 min read यादों की किताब पर खिताब खिताब जीतने के लिए ही सही लिखा तो *स्टार के लिए ही सही, चाहे प्रोत्साहन सिक्कों के लिए ही सही, . देखा एक बिन्दु को, ही सही, दो बिंदुओं के... Hindi 153 Share Mahender Singh 28 Jan 2024 · 1 min read आंखन तिमिर बढ़ा, आंखन तिमिर बढ़ा, बाल हुए सफेद, चमडी पर छाई पड़ी, कहते फिरे वेद. . जाता है तो जा अजगर, घोर किये अपराध, थोथे गाल बहुत बजाए, कह गये समसाध, .... Hindi · Quote Writer 304 Share Mahender Singh 15 Jan 2024 · 1 min read ठिठुरन ये सिहरन ठिठुरन यह सिकुड़ते लोग अहं की दहलीज प्रेम प्यार से दूरी इंसानियत के लिए फंदे तो नहीं कहीं मंथन नहीं न ही मनन कौन कहे मनुष्य, शर्मसार मनुष्यता,... Hindi 417 Share Mahender Singh 15 Jan 2024 · 1 min read प्राण प्रतिष्ठा मन भेद विभिन्नताओं को दर्शाता है, मन विचारों का उद् भव स्त्रोत है, बुद्धि ज्ञान का संग्रह स्थल है, विचार मंथन सचेतन अवस्था है, अवचेतन मन वह संग्रहालय है, जिसमें... Hindi 1 367 Share Mahender Singh 13 Jan 2024 · 1 min read अनजान दीवार कोई दीवार अनजान कैसे हो सकती है ! प्रकृति कोई दीवार रेखा खिंचती। नहीं ! . जो है वे सब काल्पनिक, इस धरा पर पर्वत मालायें है, जीवन है जहां... Hindi 379 Share Mahender Singh 12 Jan 2024 · 1 min read न्याय तो वो होता न्याय तो , वो होता सब साथ मिलकर लड़े थे, अंग्रेजी हुकूमत से, हम बसे है, उनकी भी बसासत होती, उनके स्मारक, हम सबके है. गर हम हिंद के वासी,... Hindi 350 Share Mahender Singh 11 Jan 2024 · 1 min read बिन अनुभव कैसा विश्वास जैसे ही उसने, जेब में हाथ अपना डाला, तुरंत पकडते हुए .... मैं बोला ! मैंने पहचान लिया !! आगे पडताल पुलिस करेगी . वो बोला बाबू जी ! पुलिस... Hindi 155 Share Mahender Singh 7 Jan 2024 · 1 min read अर्जक रह लेता बिन राम, रहमान बिन, वे साकार हैं, मूर्त, तलाश मेरी, उस अमूर्त निराकार जो धड़कन है, स्व-सत्ता खुद ही पास, वह खिलता है, वह सृजन है, वह पालक,... Hindi 419 Share Mahender Singh 3 Jan 2024 · 1 min read बुदबुदा कर तो देखो बुदबुदा कर तो देखो, एक नई कहानी एक नई कहानी, न बन जाये तो कहना लाख लगा दो पहरे, ये दिल्लगी, "बारिश के बहाने, हो कर रहेगी, उठती है अक्सर,... Hindi 1 388 Share Mahender Singh 2 Jan 2024 · 1 min read अर्थव्यवस्था और देश की हालात वर्तमान में समसामयिक घटना-चक्र को समझने और समझाने के लिए :- बढ़िया संपादकीय,, फिलहाल देश में एक ऐसी भीड़ मौजूद है, जो सुनने / सुनाने के लिए तैयार नहीं है.... Hindi 299 Share Mahender Singh 1 Jan 2024 · 1 min read शुभ् कामना मंगलकामनाएं ऋतुओं की पुनरावृत्ति का नाम नव-वर्ष मन्नत मांगने की आदतें पालते नहीं, हठ करना क्यों, व्यवहार शुद्धि ही सही सहज कला स्वयं सृजन, पैदा करती है . व्यर्थ के संकल्प... Hindi 519 Share Mahender Singh 28 Dec 2023 · 1 min read रहस्य-दर्शन छुपे हुआ ओझल नहीं छंट गये बादल तमस न हटे संभव नहीं, बंद आंखें, धोखे तो नही, देखा है हिम्मत नहीं तथ्य रोचक भौचक्के क्यों ! बुद्धि है, प्रयोग नहीं,... Hindi 187 Share Mahender Singh 27 Dec 2023 · 1 min read मी ठू ( मैं हूँ ना ) भाजपा का काम हो जाओ कंगाल, मध्यवर्ग भले न बजाए थोथे गाल .. करती रहेगा ऐसे ही लाखों कमाल, विदेशी कर्ज बढ़ गया, न पूछे सवाल, अन्यथा खड़े हो जायेगा... Hindi 109 Share Mahender Singh 26 Dec 2023 · 1 min read जिम्मेदारी कौन तय करेगा सरकार के पास खुद के data है नहीं . वैश्विक स्तर के निरीक्षण को मंजूरी नहीं है, छप्पर फाड़ G.S.T संग्रह को काबिलियत समझते हैं, किसी केंद्रीय मंत्री की जिम्मेदारी... Hindi 382 Share Mahender Singh 23 Dec 2023 · 1 min read एक तो धर्म की ओढनी एक तो धर्म की ओढनी ऊपर से राजनीतिक छोंक . दोहरी शक्ति का समावेश मिलते नहीं कहीं अवशेष, . तोड़ कर अपनी भाव भंगिमा, महावीर गौतम भंगनवान हुए. . बिछा... Hindi 215 Share Mahender Singh 22 Dec 2023 · 1 min read शाश्वत और सनातन आप रोजमर्रा की जिंदगी, जीते जीते, हालात ऐसे हैं, जैसे रोबोट बिल्कुल यांत्रिक (mechanical) . ऐसे में मन मस्तिष्क के क्रियान्वयन, क्रिया-शैली का अध्ययन आवश्यक है, उदाहरण के तौर पर,... Hindi 1 235 Share Mahender Singh 21 Dec 2023 · 1 min read अनसुलझे किस्से ज्ञान की पराकाष्ठा, विज्ञान पुष्टि करती है, मगर तथाकथित धर्म, मन की कल्पनाओं के सहारे, विज्ञान को मात देना चाहता है !! राजनीति भी गणित की संख्याओं का ही खेल... Hindi 364 Share Mahender Singh 21 Dec 2023 · 1 min read आपकी आहुति और देशहित जाति के जनप्रतिनिधियों को ये सोचना चाहिए, वे जाति की वजह से नहीं, सर्व धर्म संभाव की वजह से वहां हैं .।। वे भले कौम के ठेकेदार बन जायें, वे... Hindi 211 Share Mahender Singh 18 Dec 2023 · 1 min read विश्व की पांचवीं बडी अर्थव्यवस्था भारत विश्व की पांचवीं सबसे बडी अर्थ-व्यवस्था आप हंस क्यों रहे हैं, कम से कम रोना मत :- . एक अकेला सब पर भारी, हो भी क्यों ना, किसी की... Hindi 1 400 Share Mahender Singh 16 Dec 2023 · 1 min read वे वादे, जो दो दशक पुराने हैं सपने हैं सपनों का क्या ! आंखें खुली सब टूट गये. भूखे चले थे, पटरी पटरी, हारे थके सो गये, कुचले गये. कच्चा मांस खाते वो बच्चा,, महामारी से नहीं,... Hindi 1 1 379 Share Mahender Singh 16 Dec 2023 · 1 min read छुपा सच रह जाओगे, खुद से बेखबर, चाहे जितना मर्जी हो सफर, पतंग को ऊंचाई छूते देखकर, एक हाथ डोर, रखें संभालकर, करिश्मा हाथ में,ऐसा सोचकर, भ्रमण करो, माहौल परख कर, धाम... Hindi 2 303 Share Mahender Singh 9 Dec 2023 · 2 min read तथाकथित धार्मिक बोलबाला झूठ पर आधारित है सबकी अपनी सामाजिक, धार्मिक, राजनीतिक, आर्थिक यानि अर्थव्यवस्था की समझ होनी चाहिए ।। ताकि आपका कोई प्रयोग यानि हथियार बना कर प्रयोग ना कर सके,, अगर आप थोड़े बहुत दूर-दृष्टि... Hindi 1 291 Share Mahender Singh 6 Dec 2023 · 1 min read बात शक्सियत की हैशियत दिखावे पर जिंदा है, साहेब ! बे-हिसाब खर्च करने के बाद, मालूम होता है ! जरूरतमंद तो छूट गये ! भर पेट खाना खाने वाले ! डकार ली, और... Hindi 349 Share Mahender Singh 5 Dec 2023 · 1 min read मन की आंखें आंखों की बातें मन के विचार और भावनाओं का आईना हैं, खुली आंखें दृश्य को देख, कल्पनाओं को जन्म देती है, इस ज्ञान-इंद्रिय से जो देख पाते है, उसे दर्शन... Hindi 1 369 Share Mahender Singh 5 Dec 2023 · 1 min read गारंटी सिर्फ़ प्राकृतिक और संवैधानिक अधिकतर लोग ! सुनी सुनाई, लिखे हुई, पढ़े पढ़ाई, बातों पर आधारित, कथन और तथ्य पेश करते हैं, जिरह करते है, पुख्ता जानकारी न होने के कारण, मनोबल टूट जाता... Hindi 351 Share Mahender Singh 3 Dec 2023 · 1 min read एक मुलाकात अजनबी से एक रात की बात है, ये दिन दहाड़े हो रही लूट की वारदात है, किसी की अस्मिता लूट गई, सबको मालूम है, मगर प्रशासन बेखबर है, लगता है, इसमें सरकार... Hindi 1 200 Share Mahender Singh 24 Nov 2023 · 1 min read अंधकार जो छंट गया अंधेरे है मगर इतना खौफनाक मंजर भयानक आवाज़, दृश्यमान कुछ है नहीं, मगर प्राण कंप उठे है, चेहरे पर पसीना, आंखें सूर्ख लाल, आंखों की पुतली जैसे भौंह के पीछे... Hindi 1 2 498 Share Mahender Singh 20 Nov 2023 · 1 min read कुछ पल मन ही मन को कह रहा देखो भाई बनी के सब साथी,बिगडे का न कोई कहती थी ऐसा मेरी कस्तूरी ताई, आज उनकी बात,बड़ी मन भाई. खेल भी देखा देखे... Hindi 2 1 515 Share Mahender Singh 19 Nov 2023 · 1 min read पद और गरिमा तेरी हर खता में, एक खाता होता है, तेरे हर कृत्य, जन विरोधी होते है. ~ विवादित व्यक्ति ~ @ पद गरिमापूर्ण @ Hindi 341 Share Mahender Singh 18 Nov 2023 · 1 min read स्तंभ बिन संविधान बिन स्तंभ सम्विधान, चल कैसे रहा है ! . एक नहीं चारों स्तंभ अपनी जिम्मेदारी अपनी जवाबदेही अपनी मर्यादा भूल चुके है,, फिर भी लोकतंत्र अपने बलबूते पर खड़ा है.... Hindi 1 309 Share Mahender Singh 17 Nov 2023 · 1 min read तुलनात्मक अध्ययन एक अपराध-बोध अजीब कारवां है, ग्यारह खिलाड़ियों की टीम में कोई अंधा, कोई लंगडा, कोई बहरा हो गया !! सभी खिलाड़ियों का गठजोड़ भारतीय क्रिकेट टीम हुआ करती है ।।। . मैंने... Hindi 2 2 573 Share Mahender Singh 16 Nov 2023 · 1 min read खेल और भावना जैसा की सभी क्रिकेट प्रेमी जानते हैं, भारत की क्रिकेट टीम एकजुट होकर अच्छी खेल भावना का परिचय देते हुए और अपनी झोली में जीत दर्ज की, न खिलाडियों को,... Hindi 1 1 412 Share Page 1 Next