591
posts
रात्रि के बाद सुबह जरूर होती है
भूरचन्द जयपाल
फूल झरते हो
भूरचन्द जयपाल
सुबह आनेवाली रोशनी की घड़ी है
भूरचन्द जयपाल
शायद इंसानियत फिर से कहीं खो गयी है
भूरचन्द जयपाल
सागर किनारे
भूरचन्द जयपाल
प्रेम
भूरचन्द जयपाल
मैंने कहा-नी
भूरचन्द जयपाल
आँखों में आञ्जलों
भूरचन्द जयपाल
आँखों में खुमार
भूरचन्द जयपाल
तेरी तस्वीर
भूरचन्द जयपाल
अरे आईने हमसे नफ़रत कर
भूरचन्द जयपाल
जबसे हम तुम्हारे दिल के फ्रेम में कैद हुए
भूरचन्द जयपाल
वरना चिड़िया चुग जायेगी खेत
भूरचन्द जयपाल
क्षर-क्षरणशील-मरणशील मानव-जीवन
भूरचन्द जयपाल
सूरज की छवि
भूरचन्द जयपाल
दिल आहत होता है
भूरचन्द जयपाल
फूल की पंखुड़ियाँ अब मुरझाने लगी है
भूरचन्द जयपाल
सरज़मीन-ए-हिन्द पे नापाक कोई है
भूरचन्द जयपाल
राष्ट्रहित को आज कौन समझता है
भूरचन्द जयपाल
हारना हमनें कभी नहीं है सीखा
भूरचन्द जयपाल
यादों के समंदर भी
भूरचन्द जयपाल
प्रथम चुम्बन
भूरचन्द जयपाल
नमन करूँ माँ शारदे
भूरचन्द जयपाल
आयो आयो रे बसन्त
भूरचन्द जयपाल
चतु-रंग झंडे में है
भूरचन्द जयपाल
दोगलों की दुनियां
भूरचन्द जयपाल
मान-पत्र सम्मान-पत्र
भूरचन्द जयपाल
* हवा का रुख बदल दो तुम *
भूरचन्द जयपाल
बहुजन होकर बिखरे क्यों भाई
भूरचन्द जयपाल
* मुस्कुराते हैं हम हमी पर *
भूरचन्द जयपाल
यादों के सफ़र में
भूरचन्द जयपाल
शब्दों की क्या औक़ात
भूरचन्द जयपाल
ये तेरी ख़ामोश नजरें
भूरचन्द जयपाल
जिंदगी व्यापार बनती जा रही है
भूरचन्द जयपाल
सुनलो मेरे दिल की आवाज़ सुनलो
भूरचन्द जयपाल
मुहब्बत है ये कोई साज़ नही
भूरचन्द जयपाल
मदहोश करके होश में ना कीजिए
भूरचन्द जयपाल
हम ख़ंजर नहीं रखते
भूरचन्द जयपाल
अपने साथ छलावा कैसे करोगी
भूरचन्द जयपाल
मोहब्बत-दीदे-दीदार
भूरचन्द जयपाल
तेरा मुस्कुराना महज़ एक धोखा- सा था
भूरचन्द जयपाल
जिंदादिली-ताउम्र नहीं होती
भूरचन्द जयपाल
करूं तो विश्वास अब किस पर कैसे करूं
भूरचन्द जयपाल
मोहब्बत--इबादत मजबूरी तो नहीं है
भूरचन्द जयपाल
** कहानी माँ की **
भूरचन्द जयपाल
वक्त के साथ चेहरे बदल जाते हैं
भूरचन्द जयपाल
जो दूसरों से नहीं हारता
भूरचन्द जयपाल
** दोस्ती का बीज **
भूरचन्द जयपाल
** एक फूल ने डाल से गिरते फूल को देखा **
भूरचन्द जयपाल
* सफल जीवन मंगल **
भूरचन्द जयपाल