कवि दीपक बवेजा Language: Hindi 174 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid Previous Page 2 Next कवि दीपक बवेजा 4 Mar 2023 · 1 min read मीलों का सफर तय किया है हमने मीलों का सफर तय किया है हमने , अब हल्के हल्के मुकाम नजर आते हैं ! मंजिल हल्की-हल्की सी दिखती है लेकिन राहों में तूफान नजर आते हैं ! कई... Hindi · कविता 1 196 Share कवि दीपक बवेजा 25 Feb 2023 · 1 min read उसको उसके घर उतारूंगा मैं अकेला ही घर जाऊंगा उसको उसके घर उतारूंगा मैं अकेला ही घर जाऊंगा, अगर वो नहीं मिला मुझको तो मैं कौन सा मर जाऊंगा | उसको आंख भर देख लिया मैं वहीं पर बिखर... Hindi · कविता 3 174 Share कवि दीपक बवेजा 25 Feb 2023 · 1 min read संघर्षों के राहों में हम संघर्षों के राहों में हम नदियों को भी मोडेगे, आंधियों में जलकर गुरूर हवा का तोड़ेंगे | एक बार जो ठान लिया मंजिल अपना मान लिया, आंखों में तूफ़ान लिया... Hindi · कविता 1 157 Share कवि दीपक बवेजा 25 Feb 2023 · 1 min read मौसम नहीं बदलते हैं मन बदलना पड़ता है मौसम नहीं बदलते हैं मन बदलना पड़ता है रास्ते नहीं चलते कभी हमें ही चलना पड़ता है आसानी से यहां कुछ हासिल नहीं होता है अपने सपनों खातिर हमें मचलना... Hindi · कविता 2 2 135 Share कवि दीपक बवेजा 24 Feb 2023 · 1 min read मैं लोगों से कहता रहता था उसके बारे में.. मुसलसल ठोकरो से मेरा रास्ता नहीं बदला... मुझे गिराने में जमाना बदला, पर मैं नहीं बदला , मैं लोगों से कहता रहता था उसके बारे में...... मैं जी नहीं पाऊंगा... Hindi · कविता 1 91 Share कवि दीपक बवेजा 23 Feb 2023 · 2 min read तब घर याद आता है आंखें नम हो जाती हैं याद मां की आती है , जब भूख सताती है तब घर याद आता है! दिल में दवी ख्वाहिश जब अधूरी रहती है , जेब... Hindi · कविता 1 294 Share कवि दीपक बवेजा 23 Feb 2023 · 1 min read एक दिन यह समय भी बदलेगा एक दिन यह समय भी बदलेगा पुराने पत्ते झड़ेगे नए पत्ते आएंगे हर एक कश्ती के किनारे आएंगे हौसले बीच में ही थमने ना पाएंगे हवाओं के रुख भी बदल... Hindi · कविता 1 258 Share कवि दीपक बवेजा 22 Feb 2023 · 1 min read सरल मिज़ाज से किसी से मिलो तो चढ़ जाने पर होते हैं अमादा.... सरल मिज़ाज से किसी से मिलो तो चढ़ जाने पर होते हैं अमादा...., वादे की रखता यहां कौन कदर किससे करें साथ निभाने का वादा., जिंदगी कैसे जीनी होती है... Hindi · Quote Writer · मुक्तक 2 2 487 Share कवि दीपक बवेजा 22 Feb 2023 · 8 min read सरकारी नौकरी पर्दा उठता है इस कहानी के 4 पात्र हैं घर का एकलौता बेटा राहुल जो कि इस कहानी का मुख्य पात्र है एक पिता जी जिन्होंने अपनी पूरी जिंदगी मैं... Hindi · कहानी 1 209 Share कवि दीपक बवेजा 22 Feb 2023 · 4 min read माँ एक बच्चा जो अपनी माँ से बिछड़ कर कहीं बाहर रह राहा है और वह माँ को याद करते हुए एक कविता इस प्रकार लिखता है और अपना प्यार माँ... Hindi · कविता 1 183 Share कवि दीपक बवेजा 14 Feb 2023 · 1 min read पुलवामा हमले पर शहीदों को नमन चार पंक्तियां मोहब्बतों के दिन देश के लिए जान वो गवा गए , वतन से बढ़कर कुछ नहीं यह दुनिया को बता गए ! मां उनकी पूछती होगी उनकी बेटे हमारे कहां... Hindi · Quote Writer 3 278 Share कवि दीपक बवेजा 13 Feb 2023 · 1 min read कलम बेच दूं , स्याही बेच दूं ,बेच दूं क्या ईमान कलम बेच दूं , स्याही बेच दूं ,बेच दूं क्या ईमान हर चीज को पैसे से तोलने निकला है जहान !! इंसानों का मोल कहां सब बिकने को आतुर...... दफ्तर... Hindi · Quote Writer 2 297 Share कवि दीपक बवेजा 12 Feb 2023 · 1 min read बहुत सस्ती दर से कीमत लगाई उसने बहुत सस्ती दर से कीमत लगाई उसने कौन से बाजारों का हम हिस्सा हुए हैं ! जिन कहानी के रचयिता हुआ करते थे उन कहानियां का ही हम किस्सा हुए... Hindi · Quote Writer 1 406 Share कवि दीपक बवेजा 12 Feb 2023 · 1 min read इतना तराशेंगे खुद को इतना तराशेंगे खुद को शुद्धता से भर जाएंगे, लाख कोशिशें करो , नहीं हम डर जाएंगे | अभी जंग लंबी चलेगी अभी कहां घर जाएंगे, मुझे रास्ते से हटाने में... Hindi · कविता 1 75 Share कवि दीपक बवेजा 12 Feb 2023 · 1 min read "Teri kaamyaabi par tareef, tere koshish par taana hoga, " Ho Teri kaamyaabi par tareef, tere koshish par taana hoga, Tere dukh Mai kuch log Honge , sukh Mai Zamana hoga." Deepak saral Hindi · Quote Writer 2 380 Share कवि दीपक बवेजा 12 Feb 2023 · 1 min read बेरोजगारों का वैलेंटाइन बेरोजगारों को वैलेंटाइन खुद ही बनाना पड़ता है गरीबी में खुद ही खुद का साथ निभाना पड़ता है महंगाई के इस दौर में आटे दाल का भाव बताना पड़ता है... Hindi 1 155 Share कवि दीपक बवेजा 6 Feb 2023 · 1 min read ऐसे ही कोई चलते फिरते राहों में मिल जाता है ऐसे ही कोई चलते फिरते राहों में मिल जाता है......., ऐसे ही कोई चलते फिरते यू हमसफर बन जाता है..., चार कदम जो साथ चलो तो मन क्यों घबराता है..,... Hindi · कविता 1 44 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read अब कुछ उम्मीदों का टूट जाना जरूरी है अब कुछ उम्मीदों का टूट जाना जरूरी है गम हो भले फिर भी मुस्कुराना जरूरी है | दोस्ती के बंधन में बांधते हो तुम अगर एक बार तुमको भी आजमाना... Hindi · कविता · मुक्तक 3 157 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read ऐसी चकाचौंध में मेरा यह नसीब हुआ .....! ऐसी चकाचौंध में मेरा यह नसीब हुआ .....! पहले था कोई और अब कोई और करीब हुआ दिल के मामलों में हम नहीं जीत पाएंगे....! पहले भी इन मुद्दों पर... Hindi · शेर 187 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read अजीब लोगों ने सब अजीब बना रखा है अजीब लोगों ने सब अजीब बना रखा है मामला यह बड़ा संजीद बना रखा है , खुद अपनी हस्ती भूल गए हैं वे लोग और बोलते हैं जिन्दगी में क्या... Hindi · मुक्तक 79 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read जिंदगी है कि उधेड़बुन में गुजर जाएगी जिंदगी है कि उधेड़बुन में गुजर जाएगी हमारी याद तो जाने के बाद भी आएगी! तुम ढूंढोगे हमारी खुशबू जाने के बाद भी हमारी यह खुशबू कई रूह महकाएगी!! ✍Kabhi... Hindi · मुक्तक 137 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read यह कौन सा शौक यह कौन सा शौक तुमने पाल रखा है इस जनता को यूं ही उबाल रखा है , ना हार तय है , ना जीत है फिर भी, बिना मतलब सिक्का... Hindi · ग़ज़ल · मुक्तक 129 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read रोक दो साजिशे तुम्हारी इससे पहले बदले हम , रोक दो साजिशे तुम्हारी लौट आओ घर समय पर टूट ना जाए उम्मीदें हमारी चकाचौंध में न जाए , यह आंखें कही तुम्हारी वक्त आने... Hindi 1 52 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read मेरा मोन अच्छा है जो मेरे बुलाने पर मुद्दतों से मोन में है, उसकी बोली पर मेरा मोन अच्छा है | नहीं भुलाई हमने बचपन की यादें, मन तो मेरा यार आज भी बच्चा... Hindi · कविता 156 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read हमारे खिलाफ साजिश हो कई हमारे खिलाफ साजिश हो कई फिर भी हम मौन रहा करते हैं | वह कौन से लोग हैं मेरे खास जो मेरे पीछे मेरा बुरा करते हैं | मार्ग में... Hindi · कविता 155 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read कुछ कसक दिल में चल रही है जिंदगी मगर कुछ कसक दिल में है | मंजिल मिली नहीं है, अभी दूरी मंजिल में है ऐसा क्या हो गया जो उदासी महफिल में है |... Hindi · कविता · कुण्डलिया · मुक्तक 135 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read उम्मीदों का उगता सूरज उम्मीदों का उगता सूरज बादलों में मौन खड़ा है | जीत उसी ने पाई है , जो संघर्षों से लड़ा है | सामने सूरज हो भले वह अकेला खड़ा है... Hindi · कविता · गीतिका 1 175 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read प्यार व्यार सब धोखा प्यार - व्यार इश्क - विश्क ओर मोहब्बत यह सब धोखा है | यह तो एक झरोखा है , ऐसा करने से , किसने रोका है | तुम अपने पथ... Hindi · कविता 73 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read मैंने जब मैंने मां लिखा मुझसे पूछा कि तुमने मां पर भी कुछ लिखा सब कुछ लिख दिया मैंने जब मैंने मां लिखा ✍कवि दीपक सरल Hindi · ग़ज़ल/गीतिका · मुक्तक 1 91 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read माँ वह हमारी खातिर.., मौत से लड़ जाती है | जब जाकर हमारी, देह में प्राण लाती है | छोटी छोटी विपदा हो, दुनिया से लड़ जाती है | साहस निडरता... Hindi · कविता · ग़ज़ल · मुक्तक 1 165 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read अगर कोई पापा की परी 👼स्थिर है ( scientific poetry) अगर कोई पापा की परी 👼 स्थित है ...................., तो वह स्थित ही रहेगी...., जब तक उस पर कोई.... ''प्रपोज किए जाने का वाह्य बल कार्य न करें..... ''| Scientific... Hindi · कविता · हास्य · हास्य-व्यंग्य 1 89 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read सुराख पर इल्जाम गलत लगाते हैं सुराख पर इल्जाम गलत लगाते हैं डूबने वाले तो शर्म से डूब जाते हैं | उनसे कहां आता मोहब्बत का हुनर जो मोहब्बत करने में , ऊब जाते हैं |... Hindi · कविता · ग़ज़ल 210 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read रुमाल को तिजोरी में रखा हुआ है जिस रुमाल से उसने नम आंखें पहुंची , उस रुमाल को तिजोरी में रखा हुआ है | जिस राहों पर उसका आना हुआ कभी वहीं पर एक दिया जलाए रखा... Hindi · मुक्तक 124 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read अपनी खुशी को कुरबा किया जाता है कभी - कभी किसी अपने की खातिर , अपनी खुशी को कुरबा किया जाता है| क्या बताएं हम की आपको क्या क्या , दाव पर लगाकर इश्क किया जाता है... Hindi · ग़ज़ल · ग़ज़ल/गीतिका 135 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read फूलों ने मिलने की इच्छा जारी की, फूलों ने मिलने की इच्छा जारी की, भंवरे ने भी मिलने की तैयारी की | जब से उसने दिल में आना छोड़ा है हमने भी दिल की चारदीवारी की ||... Hindi · कविता · ग़ज़ल · ग़ज़ल/गीतिका 135 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read जब से गया है वह कोहिनूर सा जब से गया है वह कोहिनूर सा, उड़ गया है चेहरे का नूर सा ..| पहले दिखता था टमाटर जैसा , अब यह दिखता हूं खजूर सा | ✍कवि दीपक... Hindi · ग़ज़ल · मुक्तक 179 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read जमाना हस रहा है मेरी हार पर जमाना हस रहा है मेरी हार पर.., जिंदगी कहां चलती है उदार पर | जीना पड़ता है जिंदगी के सार पर, भरोसा दिल से करो अपने यार पर | तोडकर... Hindi · कविता · गीतिका · मुक्तक 84 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read मैंने उस पर ताजी गजलें लिखी है उस पर ताजी गजलें लिखी है कलम भी फूट फूट कर रोई है | अपनी सूखी कलम कई बार आंसुओं से भिगोई कोई है | ✍Kabhi Deepak Saral Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 72 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read कई मौसमों के बाद मैं , कई मौसमों के बाद मैं , अपने लिबास में आया | लड़खड़ाते सुर मैं था , अब साज में आया | बड़ी मुश्किल से ही, जीने का हुनर आया ,... Hindi · कविता · ग़ज़ल · मुक्तक 133 Share कवि दीपक बवेजा 31 Jan 2023 · 1 min read बड़ा पछताओगे बड़ा पछताओगे करके बेवफाई जो तुम जाओगे...., बड़ा पछताओगे बड़ा पछताओगे | तोड़ के दिल मेरा जो तुम्हें जाओगे, बड़ा पछताओगे बड़ा पछताओगे | मुझे तुम छोड़कर किसे अपनाओगे, किसे अपनाओगे बड़ा... Hindi · कविता · ग़ज़ल/गीतिका · गीत · गीतिका 173 Share कवि दीपक बवेजा 30 Jan 2023 · 1 min read मेरी कलम क्यों उदास है मेरी कलम उदास क्यो है , पानी को प्यास क्यो है | सब कुछ खोकर भी पाने की आस क्यों है | प्रियवर को पाकर भी मनवा उदास क्यों है... Hindi · कविता · ग़ज़ल · ग़ज़ल/गीतिका 56 Share कवि दीपक बवेजा 30 Jan 2023 · 1 min read सपनों को हकीकत में बदलने वाले सपनों को हकीकत में बदलने वाले , चंद सिक्के हैं बाजार में चलने वाले | कहां होते हैं सब किनारा करने वाले, बहुत मिलते हैं सिक्के उछलने वाले | प्यार... Hindi · कविता · ग़ज़ल · मुक्तक 201 Share कवि दीपक बवेजा 30 Jan 2023 · 1 min read किस कलम की पुकार से पुकार लिखूंगा कलम की पुकार से पुकार लिखूंगा , कभी तो मैं जिंदगी का सार लिखूंगा | मोहब्बतों में कभी प्यार लिखूंगा दोस्ती में दोस्ती को यार लिखूंगा | निभा सको तो... Hindi · कविता 86 Share कवि दीपक बवेजा 30 Jan 2023 · 1 min read नहीं आया था वो रास उसको , कई दिनों बाद आई याद उसको , करके गया था कोई उदास उसको | मुझसे लगा था कोई खास उसको क्यों नहीं आया वह रास उसको || कवि दीपक सरल Hindi · मुक्तक 1 108 Share कवि दीपक बवेजा 30 Jan 2023 · 1 min read दर्दे दिल में कई रिश्ते पाल रखे हैं दर्दे दिल में कई रिश्ते पाल रखे हैं कई दिलो से हम , निकाल रखे हैं | जो हमारे कभी हुए ही नहीं सरल , क्यों उनके - नंबर संभाल... Hindi · मुक्तक 168 Share कवि दीपक बवेजा 30 Jan 2023 · 1 min read यह शर्म ए हया, इश्क ,मोहब्बत कुछ तो है जहां देखने पर कुछ नहीं है. , ...............वहां कुछ तो है | यह शर्म ए हया, इश्क ,मोहब्बत ................यह कुछ तो है | अनंत नूर हो भले उसके चेहरे पर... Hindi · कविता · ग़ज़ल 161 Share कवि दीपक बवेजा 30 Jan 2023 · 1 min read कौन है जिसको बिछड़ जाने पर गिला नहीं है कौन है जिसको बिछड़ जाने पर गिला नहीं है , वह मिला तो है , हमसे लेकिन मिला नहीं है | अभी बाकी है कई पुराने जख्म हमारे सीने में,... Hindi · कोटेशन · ग़ज़ल · ग़ज़ल/गीतिका · मुक्तक · शेर 101 Share कवि दीपक बवेजा 30 Jan 2023 · 1 min read दिल मेरा किसी और से मोहब्बत करेगा नहीं तेरे अलावा ....... दिल मेरा किसी और से मोहब्बत करेगा नहीं | करेगा, करने लगा है , लेकिन करेगा नहीं | ✍कवि दीपक सरल Hindi · ग़ज़ल 62 Share कवि दीपक बवेजा 25 Jan 2023 · 1 min read तब जाकर के ये आजादी आई है कई भारत मां के बेटों ने अपनी जान गवाई है | तब जाकर कर के भारत में यह आजादी आई है | भगत सिंह , सुखदेव ने अंग्रेजों को ललकारा... Hindi · कविता 186 Share कवि दीपक बवेजा 24 Jan 2023 · 1 min read जिंदगी आईने से खुल जाती है सामने से जिंदगी आईने से खुल जाती है सामने से गमों को कमजर्फ के सामने दिखाऊं कैसे, दिल मेरा भी नहीं लगता है अब अकेले में किसी को जबरदस्ती अपना बनाऊं कैसे... Hindi · Poem · कविता 2 95 Share Previous Page 2 Next