Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
5 Mar 2025 · 1 min read

परछाई भी छीनकर ले गई तन्हाई हमसे

परछाई भी छीनकर ले गई तन्हाई हमसे
अब अंधेरे में ढूंढते है हम मंजिल के रास्ते

1 Like · 39 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.

You may also like these posts

🙅कृपया ध्यान दीजिए🙅
🙅कृपया ध्यान दीजिए🙅
*प्रणय प्रभात*
रक्षाबंधन - एक अटूट बंधन
रक्षाबंधन - एक अटूट बंधन
Savitri Dhayal
नारी
नारी
Rambali Mishra
भोग कामना - अंतहीन एषणा
भोग कामना - अंतहीन एषणा
Atul "Krishn"
पर स्त्री को मातृशक्ति के रूप में देखना हनुमत दृष्टि है, हर
पर स्त्री को मातृशक्ति के रूप में देखना हनुमत दृष्टि है, हर
Sanjay ' शून्य'
ग़ज़ल _ सर को झुका के देख ।
ग़ज़ल _ सर को झुका के देख ।
Neelofar Khan
"अचरज "
Dr. Kishan tandon kranti
दरअसल बिहार की तमाम ट्रेनें पलायन एक्सप्रेस हैं। यह ट्रेनों
दरअसल बिहार की तमाम ट्रेनें पलायन एक्सप्रेस हैं। यह ट्रेनों
ब्रजनंदन कुमार 'विमल'
मधुमक्खी
मधुमक्खी
डॉ प्रवीण कुमार श्रीवास्तव, प्रेम
*परिमल पंचपदी--- नवीन विधा*
*परिमल पंचपदी--- नवीन विधा*
रामनाथ साहू 'ननकी' (छ.ग.)
ऋतुराज (घनाक्षरी )
ऋतुराज (घनाक्षरी )
डॉक्टर रागिनी
मैं एक महाकाव्य बनना चाहूंगी
मैं एक महाकाव्य बनना चाहूंगी
Ritu Asooja
भांति भांति जिन्दगी
भांति भांति जिन्दगी
Ragini Kumari
आंखें भी खोलनी पड़ती है साहब,
आंखें भी खोलनी पड़ती है साहब,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
3732.💐 *पूर्णिका* 💐
3732.💐 *पूर्णिका* 💐
Dr.Khedu Bharti
उनसे नज़रें मिलीं दिल मचलने लगा
उनसे नज़रें मिलीं दिल मचलने लगा
अर्चना मुकेश मेहता
बलात्कार
बलात्कार
Dr.sima
जंग लगी थी सदियों से शमशीर बदल दी हमने।
जंग लगी थी सदियों से शमशीर बदल दी हमने।
Prabhu Nath Chaturvedi "कश्यप"
*भूल गए अध्यात्म सनातन, जातिवाद बस याद किया (हिंदी गजल)*
*भूल गए अध्यात्म सनातन, जातिवाद बस याद किया (हिंदी गजल)*
Ravi Prakash
"देशभक्ति की अलख"
राकेश चौरसिया
शब्द
शब्द
Mandar Gangal
क्यू ना वो खुदकी सुने?
क्यू ना वो खुदकी सुने?
Kanchan Alok Malu
तोड़कर दिल को मेरे इश्क़ के बाजारों में।
तोड़कर दिल को मेरे इश्क़ के बाजारों में।
Phool gufran
रिमझिम बूँदों की बहार
रिमझिम बूँदों की बहार
Pratibha Pandey
दोहा चौका. . . . रिश्ते
दोहा चौका. . . . रिश्ते
sushil sarna
नाउम्मीदी कभी कभी
नाउम्मीदी कभी कभी
Chitra Bisht
ग़ज़ल
ग़ज़ल
ईश्वर दयाल गोस्वामी
किसी और को लाइक और फॉलो करने से
किसी और को लाइक और फॉलो करने से
Dr fauzia Naseem shad
पूछती है कविता
पूछती है कविता
Dr MusafiR BaithA
तुम,दर-दर से पूछ लो
तुम,दर-दर से पूछ लो
Inder Bhole Nath
Loading...