Sahityapedia
Sign in
Home
Search
Dashboard
Notifications
Settings
4 Mar 2025 · 1 min read

जब मोड़ रहा जीवन को माया

जब मोड़ रहा जीवन को माया
शिव ने नाश किया मन की सीमाओं का,
जब अंतर्मन विचलित भाग रहा
शिव ने नाश किया उसमें पलती कुशंकाओ का,
जब धर्म को व्यापार बना खेल रहे कुछ लोगशिव ने तोड़ा उन भ्रमों को
जब गौ गायत्री गीता छली जा रही शिव ने थामा उनसब सैलाबों को
जब जीवन मरघट सा वीरान छल भस्मो का नर्तन हिय होने लगा तब शिव रोका उन आवेगित रुदनों को
शिव ने सिखलाया कंठ विष धर
शांति समाधि लगाना ,
बस तब से अश्रु खार हुई , अहि जैसा फुंफकार उठी ,
धीर धर हलाहल पी वो भी नीलकंठ हुई

24 Views
📢 Stay Updated with Sahityapedia!
Join our official announcements group on WhatsApp to receive all the major updates from Sahityapedia directly on your phone.
Books from पं अंजू पांडेय अश्रु
View all

You may also like these posts

अधूरा इश्क़
अधूरा इश्क़
Dipak Kumar "Girja"
कैसी निःशब्दता
कैसी निःशब्दता
Dr fauzia Naseem shad
खाली पैमाना
खाली पैमाना
ओनिका सेतिया 'अनु '
संवादरहित मित्रता, मूक समाज और व्यथा पीड़ित नारी में परिवर्तन
संवादरहित मित्रता, मूक समाज और व्यथा पीड़ित नारी में परिवर्तन
DrLakshman Jha Parimal
नजरें खुद की, जो अक्स से अपने टकराती हैं।
नजरें खुद की, जो अक्स से अपने टकराती हैं।
Manisha Manjari
चंद सवालात हैं खुद से दिन-रात करता हूँ
चंद सवालात हैं खुद से दिन-रात करता हूँ
VINOD CHAUHAN
जितनी  ज्यादा   चाह  परिंदे।
जितनी ज्यादा चाह परिंदे।
पंकज परिंदा
" प्रेम का अन्त "
Dr. Kishan tandon kranti
सम्बन्ध (नील पदम् के दोहे)
सम्बन्ध (नील पदम् के दोहे)
दीपक नील पदम् { Deepak Kumar Srivastava "Neel Padam" }
बड़ा सुंदर समागम है, अयोध्या की रियासत में।
बड़ा सुंदर समागम है, अयोध्या की रियासत में।
जगदीश शर्मा सहज
महसूस किए जाते हैं एहसास जताए नहीं जाते.
महसूस किए जाते हैं एहसास जताए नहीं जाते.
शेखर सिंह
3225.*पूर्णिका*
3225.*पूर्णिका*
Dr.Khedu Bharti
बंटवारा
बंटवारा
Shriyansh Gupta
देश को समझें अपना
देश को समझें अपना
अरशद रसूल बदायूंनी
ये फुर्कत का आलम भी देखिए,
ये फुर्कत का आलम भी देखिए,
डॉ. शशांक शर्मा "रईस"
" मन भी लगे बवाली "
भगवती प्रसाद व्यास " नीरद "
यह आज़ादी झूठी है
यह आज़ादी झूठी है
Shekhar Chandra Mitra
मनोवृत्तियाँ
मनोवृत्तियाँ
डा. सूर्यनारायण पाण्डेय
यौवन रुत में नैन जब, करें वार पर  वार ।
यौवन रुत में नैन जब, करें वार पर वार ।
sushil sarna
बहुत उलझा हुआ हूं मैं कोई रास्ता नहीं दिखता ।
बहुत उलझा हुआ हूं मैं कोई रास्ता नहीं दिखता ।
अश्विनी (विप्र)
*ऐसा स्वदेश है मेरा*
*ऐसा स्वदेश है मेरा*
Harminder Kaur
प्यारी सी चिड़िया
प्यारी सी चिड़िया
Dr. Mulla Adam Ali
#लघुकविता-
#लघुकविता-
*प्रणय प्रभात*
हे राम !
हे राम !
Ghanshyam Poddar
बातों में बनावट तो कही आचरण में मिलावट है
बातों में बनावट तो कही आचरण में मिलावट है
पूर्वार्थ
गीत- जिसे ख़ुद से हुआ हो प्रेम...
गीत- जिसे ख़ुद से हुआ हो प्रेम...
आर.एस. 'प्रीतम'
*मेला (बाल कविता)*
*मेला (बाल कविता)*
Ravi Prakash
आखिर तेरे इस हाल का, असल कौन जिम्मेदार है…
आखिर तेरे इस हाल का, असल कौन जिम्मेदार है…
Anand Kumar
संत गुरु नानक देव जी
संत गुरु नानक देव जी
सुरेश कुमार चतुर्वेदी
दीपउत्सव
दीपउत्सव
श्रीहर्ष आचार्य
Loading...