जीवन में बुरे कर्मों से बचाने वाला ही
"आया मित्र करौंदा.."
Dr. Asha Kumar Rastogi M.D.(Medicine),DTCD
भीगते हैं फिर एक बार चलकर बारिश के पानी में
ग़ज़ल (थाम लोगे तुम अग़र...)
साथ तुम्हारा छुटा कुछ दिन ,अब तेरे बिन रह ना सकेंगे !
उसकी हिम्मत की दाद दी जाए
समस्याओं से तो वैसे भी दो चार होना है ।
शुहरत को पा गया वो, नम हो के जो चला है,
कल के मरते आज मर जाओ। संसार को क्या पड़ी हैं तुम्हारी।
** मैं शब्द-शिल्पी हूं **
ख़ुद को मुर्दा शुमार मत करना