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25 Oct 2022 · 1 min read

लिबास -ए -उम्मीद

लिबास -ए – उम्मीद सुफ़ेद पहन रक्खा है
स्याह से लोग हैं और स्याह वादा है
लिबास पहने रक्खेगा या उतार फेकेगा?
बता आदमी! क्या तेरा इरादा है?
-सिद्धार्थ गोरखपुरी

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