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28 Jul 2021 · 1 min read

मुक्तक

आपकी लेखनी को नमन मित्र है
और सुंदर सरल आपका चित्र है
लिख रहे प्रेम तुम प्रेम में डूबकर
आपके शब्द से उड़ रहा इत्र है

अभिनव मिश्र अदम्य

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