सुनीता महेन्द्रू "बेटियाँ" - काव्य प्रतियोगिता 1 post Sort by: Latest Likes Views List Grid सुनीता महेन्द्रू 13 Jan 2017 · 1 min read नन्ही परी!!! नन्ही परी!!! ‘माँ मुझे बचा लो,माँ!! पर किसी ने न सुनी उसकी, फिर से एक भ्रूण हत्या, क्या दोष था उस नन्ही परी का, उसने तो कदम भी ना रखा... "बेटियाँ" - काव्य प्रतियोगिता · कविता · बेटियाँ- प्रतियोगिता 2017 1 3k Share